Balaji Temple:आंध्र प्रदेश में तिरुपति बालाजी मंदिर, जिसे वेंकटेश्वर मंदिर भी कहा जाता है, इसे भगवान विष्णु का निवास माना जाता है। माना जाता है के यहाँ आने वाले भक्तों की हर मनोकामना पूरी होती है इसलिए हर साल लाखों लोग यहां दर्शन के लिए आते हैं।यह मंदिर भारत के सबसे अमीर मंदिरों में से एक है। यहां की परंपराएं और मान्यताएं इसे खास बनाती हैं और भक्तों को आध्यात्मिक अनुभव प्रदान करती हैं। यह मंदिर न सिर्फ आस्था का केंद्र है, बल्कि इससे जुड़ी कई अनोखी बातें भी इसे बेहद खास बनाती हैं।तो आइए जानें इस मंदिर के बारे में।
स्वामी पुष्करणी कुंड का रहस्य
मंदिर के पास एक पवित्र कुंड है जिस को स्वामी पुष्करणी कहते हैं। मान्यता है कि भगवान विष्णु ने इस कुंड के किनारे वास किया था। आज भी मंदिर के सारे काम इसी कुंड के पानी से किए जाते हैं। इसीलिए इस को बहुत पवित्र माना जाता है।
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भगवान के असली बाल
मूर्ति में जो बाल लगे हैं, वे असली माने जाते हैं। खास बात यह है कि ये कभी उलझते नहीं और हमेशा नरम रहते हैं। जो की अदबुध और अविश्वसनीय है।
दो तरह के कपड़े पहनाने की परंपरा
भगवान विष्णु को यहां परंपरा के अनुसार पुरुष और महिला, दोनों के वस्त्र पहनाए जाते हैं। उन्हें नीचे धोती और ऊपर साड़ी पहनाई जाती है। ऐसा इसलिए किया जाता है क्योंकि माना जाता है कि माता लक्ष्मी भगवान के ह्रदय में निवास करती हैं।
मुख्य दरवाजे की छड़ी की कहानी
मंदिर के मुख्य दरवाजे पर एक छड़ी रखी गई है कहा जाता है के, बचपन में भगवान को इसी छड़ी से चोट लगी थी। उनकी ठोड़ी पर लगी चोट के निशान को चंदन का लेप लगाकर ढका जाता है।
गुप्त गांव से चढ़ावा
मंदिर में फूल, दूध, मक्खन आदि जो भी चीजें चढ़ाई जाती हैं, वे एक गुप्त गांव से आती हैं। इस गांव में बाहरी लोगों का जाना मना है। वहां के लोग सख्त नियमों का पालन करते हैं और महिलाएं सिले हुए कपड़े नहीं पहनतीं।
दीपक का रहस्य
बालाजी मंदिर में एक ऐसा दीपक भी है जो बिना तेल या घी के लगातार जलता रहता है। इस दीपक को किसने जलाया, इसका कोई नहीं जानता।बस ये इसी तरह से दिन रात जलता रहता है।