प्रदेश में निशुल्क व अनिवार्य शिक्षा (आरटीई) को लेकर के बेसिक शिक्षा विभाग और सख्ती करने जा रहा है। विभाग आरटीई के तहत दाखिला लेने वाले छात्रों की ऑनलाइन निगरानी की व्यवस्था शुरू करेगा। इसमें हर महीने स्कूल में छात्रों से जुड़ी जानकारी पोर्टल पर अपलोड की जाएंगी प्रशासनिक अधिकारी इसका भौतिक सत्यापन भी करेंगे।

पोर्टल पर दिखेंगी छात्र की उपस्थिति की सूचना

विभाग पोर्टल पर उपलब्धता के आधार पर स्कूलों व छात्रों को प्रेरित करेगा। इसके लिए स्कूल हर महीने संबंधित छात्र की उपस्थिति की सूचना पोर्टल पर अपलोड करेगा इससे पता चलेगा कि छात्र नियमित रूप से स्कूल आ रहा है या नहीं इसकी पढ़ाई के लिए दी जाने वाले पैसे का सही उपयोग हो रहा है या नहीं। इसके बाद खंड शिक्षा अधिकारी इसका भौतिक सत्यापन भी करेंगे इसकी रिपोर्ट के आधार पर ही आगे संबंधित छात्र की थी और अन्य चीजों के लिए दिए जाने वाला पैसा जारी किया जाएगा। इस प्रक्रिया के शुरू होने से समय की बचत होगी और गड़बड़ी भी रुकेगी कई बार छात्र पढ़ नहीं रहा होता है और उसका पैसा खाते में जाता रहता है।

छात्रवृत्ति को बनाएंगे इसका आधार

आरटीई में दिए जाने वाले पैसे की भुगतान व्यवस्था को और बेहतर करने के लिए विभाग ने समाज कल्याण विभाग से संपर्क किया है। समाज कल्याण विभाग बड़ी संख्या में छात्रों को छात्रवृत्ति देता है और उसके लिए विभिन्न दस्तावेज लेता है। उसी तर्ज पर बेसिक शिक्षा विभाग भी पार्टी से संबंधित छात्र व अभिभावकों की ई-केवाईसी आधार बैंक डिटेल, पिता की डिटेल, पैन को भी डाटा में शामिल करेगा। इसी के अनुसार उसको भुगतान किया जाएगा।