Asad Encounter: एक तरफ निकाय चुनाव और दूसरी तरफ एनकाउंटर, लोगों का भटकाया जा रहा है ध्यान?

उत्तर प्रदेश में हर तरफ निकाय चुनाव का शोर था.. वहीं इसी बीच अतीक के बेटे असद और शूटर गुलाम का एनकाउंटर होना कई सवाल खड़े करता है.. जहां विपक्षी पार्टी बीजेपी पर आरोप लगा रही है कि ये एनकाउंटर निकाय चुनाव से लोगों का ध्यान भटकाने के लिए किया गया है… वहीं विपक्षी पार्टी के नेता एक के बाद एक ट्वीट कर बीजेपी पर तंज कस रहे हैं और इस एनकाउंटर की उच्च-स्तरीय जांच की मांग कर रहे हैं। इस बारे में आपको क्या लगता है.. ये वीडियो देखने के बाद जरूर बताए..

विकास दुबे काण्ड के दोहराए जाने की उनकी आशंका सच साबित हुई…

इस बार उत्तर प्रदेश में दो चरणों में चुनाव होने हैं। चुनाव से पहले असद का एनकाउंटर कहीं सवाल खड़े कर रही है। असद और गुलाम के एनकाउंटर पर.. मायावती का बयान लोगों को सोचने पर मजबूर कर रहा है.. अपने इस ट्वीट में मायावती कह रही है कि “प्रयागराज के अतीक अहमद के बेटे व एक अन्य की आज पुलिस मुठभेड़ में हुई हत्या पर अनेकों प्रकार की चर्चाएं गर्म हैं। लोगों को लगता है कि विकास दुबे काण्ड के दोहराए जाने की उनकी आशंका सच साबित हुई है।

अतः घटना के पूरे तथ्य व सच्चाई जनता के सामने आ सके इसके लिए उच्च-स्तरीय जाँच जरूरी।” उनके इस ट्वीट से ये तो साफ है कि वो इस एनकाउंटर का बिल्कुल भी समर्थन नहीं करती है। कहीं न कहीं ये भी लगता है कि इस ट्वीट से ये भी लगता है कि एनकाउंटर बीजेपी ने चुनाव जीतने के लिए तो नहीं किया.. जो भी हो विपक्ष इसे लेकर बीजेपी पर सवाल कर रहा है।

ना पुलिस! ना थाना! ना FIR! ना मुकदमा! ना कोर्ट! ना जज! सीधा फैसला

अखिलेश यादव और प्राची साध्वी का भी इस एनकाउंटर को लेकर ट्वीट सामने आया है। अखिलेश यादव ने ट्वीट कर ये तक कह दिया कि ऐसा करके मानवाधिकार का हनन किया गया, उठाकर मार दिया। योगी आदित्यनाथ को लेकर उन्होंने कहा.. यहां के CM की ‘ठोको नीति’ अपराधियों के सिर चढ़ गई है। छोटी-छोटी बात में भी ठोक दो। ना पुलिस! ना थाना! ना FIR! ना मुकदमा! ना कोर्ट! ना जज! सीधा फैसला। जहां की सत्ता ही बुलडोजर और ठोकने से चलती हो। वहाँ की जनता पर क्या प्रभाव पड़ेगा..

अखिलेश यादव के ट्वीट को रीट्वीट करते हुए प्राची साध्वी ने कहा.. तुष्टीकरण की हद तो देखिए टोंटी चोर अपराधियों के मारे जाने पर भी आंसू बहा रहा है?? इस तरह से प्राची साध्वी ने अखिलेश यादव की बात का जवाब दिया।

अगर वह दोषी था तो… चाहे उसको फांसी लगती या कुछ और होता…

वहीं हमेशा चर्चा में रहने वाले संभल के समाजवादी पार्टी के सांसद डॉ शफीक उर रहमान वर्क ने आज भी सरकार को घेरते हुए अतीक अहमद के बेटे के एनकाउंटर  पर सवालिया निशान खड़ा कर दिया। उन्होंने कहा कि एनकाउंटर मसले का हल नहीं कानून हमारे पास मौजूद है।       

यह कोई कानूनी फैसला नहीं वह मुजरिम था, तो जेल भेजना चाहिए था, सजा होती, कुछ भी होता एनकाउंटर मसले का हल नहीं है। नगर पालिका चुनाव के मद्देनजर सांसद ने कहा कि यह तो वक्त बताएगा कि तख्ता कौन पलेगा।  उन्होंने कहा कि अगर वह सजा के काबिल था तो भेजा जाना चाहिए था। उसको जेल भेज कर मुकदमा चलाया जाता, उसमें चाहे उसको फांसी लगती या कुछ और होता… हमारे पास मौजूद है अदालत और अदालत में होने चाहिए यह फैसले।

जहां विपक्ष इस केस को चुनाव से जोड़ रहा है और इस एनकाउंटर को फर्जी करार कर रहा है इसे लेकर आपको लगता है जरूर बताए हमें कमेंट सेक्शन पर

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