पहले असद फिर अतीक और अशरफ। अब उत्तर प्रदेश में अतीक को लेकर सियासत भी गरमा गई है। सभी पार्टियां अब उत्तर प्रदेश की पुलिस पर सवाल उठा रही है। आखिर इतनी सुरक्षा के बावजूद अतीक पर कैसे गोलियां चल गई और अगर गोलियां चली भी तो पुलिस क्यों शांत थी। उन्होनें युवकों पर गोली क्यों नही चलाई।
ऐसे में अब यूपी पुलिस सवालों के कटघरे में खड़ी हुई नज़र आ रही है। बता दें कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रयागराज की घटना पर पुलिस अफसरों को तलब किया है। एडीजी लॉ एंड ऑर्डर प्रशांत कुमार सीएम से मुलाकात करने के लिए उनके आवास पर पहुंचे हैं। योगी ने डीजीपी को भी तलब किया है।

अब ये उठ रहे सवाल
- क्या अतीक को मारने की साजिश पहले रची गई थी
- अतीक का वो कौन है दुश्मन, जिसने भेजे अपने तीन धुरंधरों को
- यूपी पुलिस ने अतीक के हमलावरों पर क्यों नहीं चलाई गोलियां
- अतीक के साथ सिर्फ 10 से 12 पुलिस कर्मी ही क्यों, क्यों नहीं बढ़ाई गई थी सुरक्षा
गौरतलब हो की अशरफ ने उमेश पाल अपहरण कांड मामले में मीडिया कर्मी से बातचीत में कहा था कि मुझे मारने की धमकी दी गई है, पर मैं उस अधिकारी का नाम सामने नहीं बोलूंगा चिट्ठी में लिखकर बोलूंगा। क्या जिस चिट्ठी में अशरफ उस शख्स का नाम देने की बात कर रहा था, उसी ने ही किया अतीक और अशरफ का खात्मा?