हरिद्वार। देवताओं में प्रथम पूज्य भगवान गजानंद गणेश का जन्मोत्सव बुधवार को धूमधाम से मनाया जा रहा है। अनन्त चतुदर्शी तक चलने वाले इस महोत्सव में प्रथम पूज्य का कई तरह से अभिषेक किया जाएगा। गणेश मंदिरों में सुबह से ही भक्तों की भीड़ दर्शनार्थ उमड़ रही है।
वहीं, धर्मनगरी हरिद्वार में गणपति महोत्सव का आगाज उल्लास के साथ हो गया है। बुधवार को गणेश चतुर्थी पर कई स्थानों पर सजे पंड़लों में भगवान गणपति विराजमान हुए। इसके साथ ही घरों में भी गणपति को विराजमान किया गया। गणेश चतुर्थी पर गणपति बप्पा मोरया की गूंज सुनायी दी।
सबसे खास गणपति स्थापना उपनगरी कनखल में हुई। भगवान शिव की ससुराल कनखल स्थित दक्षेश्वर महादेव मंदिर में गणपति महोत्सव का आगाज हुआ। भगवान गणपति को उनकी ननिहाल में विधि विधान पूर्वक विराजमान किया गया। श्रावण मास पर्यन्त भगवान शिव का कनखल में वास रहता है। श्रावण समाप्त होते ही भगवान शिव के गमन के बाद अब उनके पुत्र भगवान गणेश 10 दिनों के लिए अपनी ननिहाल में विराजमान हो गए हैं।
भगवान गणपति को अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष व श्री पंचायती अखाड़ा महानिर्वाणी के सचिव श्रीमहंत रविन्द्र पुरी महाराज ने पूजा-अर्चना की और गणपति महोत्सव का शुभारम्भ किया। अपनी ननिहाल में विराजमान होते ही दक्षनगरी गणपति बप्पा मोरया के जयघोष से गुंजायमान हो उठी। भगवान गणेश आज से 10 दिनों तक अपनी ननिहाल में ही विराजमान रहेंगे। अखाड़ा परिषद अध्यक्ष व निर्वाणी अखाड़े के श्रीमहंत रविन्द्र पुरी महाराज ने बताया कि कोरोना के कारण दो साल से गणेश महोत्सव नहीं मनाया जा रहा था। इस बार बहुत ही भव्य रूप में गणेश चतुर्थी मनाई जा रही है, जिसको लेकर भक्तो में भी काफी उत्साह है। 10 दिनों तक गणेश जी की पूजा की जाएगी।
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