गाजियाबाद की आवास विकास सीमा में अवैध निर्माण जोरों पर चल रहा है। कई ऐसे बड़े बिल्डर हैं जिनकी जांच चल रही है। तो कई ऐसे बड़े बिल्डर हैं जिनकी बिल्डिंग तोड़ने के आदेश भी लखनऊ से आ चुके हैं। लेकिन आवास विकास के अधिकारी बाबा का बुलडोजर इन बड़ी-बड़ी मछलियों के यहां लेकर नहीं पहुंचते हैं।
लेकिन आज आवास विकास के अधिकारी सेक्टर 3 वसुंधरा में पूरे दल बल के साथ पहुंचे और बुलडोजर भी साथ ले लिया आवास विकास का शायद ही कोई ऐसा अधिकारी हो जो यहां ना आया हो। दरअसल यहां पर वह एक डेढ़ सौ गज के मकान को गिराने आए थे, जिसने करीब 3 मीटर अवैध निर्माण किया हुआ था। जिसके लिए इतनी बड़ी फोर्स और अधिकारियों का पूरा अमला यहां पर पहुंचा था।
3 मीटर के अवैध निर्माण के बदले गिराया पूरा मकान
पूरे मामले की अगर बात करें तो अभी 2 दिन पहले यहां पर प्रणववीर नाम के जेई पहुंचे थे और इस घर में अवैध निर्माण के बदले कुसुम नाम की इस महिला से डेढ़ लाख रुपए मांगे महिला का आरोप है कि डेढ़ लाख में से उन्होंने ₹50000 दे दिए थे। लेकिन बाकी पैसे देने में उसने असमर्थता जताई जिसकी वजह से लगातार प्रणव वीर उसको ब्लैकमेल कर रहा था।
2 दिन पहले जब जेई प्रणव वीर उसे धमकाने पहुंचा तो यहां लोगों का गुस्सा फूट पड़ा और उन्होंने जेई के साथ मारपीट कर दी। जीप रणवीर ए एक्स एन सुमित कुमार का खास बताया जाता है फिर क्या था आवास विकास का पूरा अमला जेई के साथ हुई इस हरकत का बदला लेने पहुंच गया और 3 मीटर के उस अवैध निर्माण के बदले उसका पूरा निर्माण ही गिरा दिया। तब कहीं जाकर आवास विकास के ए एक्स एन और जेई को संतुष्टि मिली।
बदला लेने की जल्दी में तारीख से पहले की कार्रवाई
निर्माण तोड़ने आए अधिकारियों से लगातार महिला यह कहती रही कि मेरे ₹50000 वापस कर दो और चाहे फिर तोड़ दो। लेकिन अधिकारियों ने उसकी बात को अनसुना कर दिया। इतना ही नहीं एक अधिकारी उस महिला से मजे लेने के मूड में भी दिखाई दिए और इनमें से एक अधिकारी तो महिला से यही पूछ बैठे कि जब आपने पैसे दिए थे तो क्या उसकी रसीद ली थी। वही इस पूरे मामले में कार्यवाही के लिए 26 दिसंबर की तारीख लगाई गई थी। लेकिन अधिकारियों को बदला लेने की इतनी जल्दी थी कि उन्होंने नोटिस की डेट पूरी होने से 2 दिन पहले ही निर्माण को गिरा दिया।
बड़ी मछलियों पर नहीं हो रही कार्रवाई
वहीं जिस निर्माण को तोड़ा जा रहा है उसी के ठीक सामने अवैध बिल्डिंग बनकर तैयार है इतना ही नहीं पूरे वसुंधरा क्षेत्र में अवैध निर्माण की भरमार है लेकिन इस अवैध निर्माण को बदले की कार्यवाही के चलते तोड़ा गया। हालांकि अवैध निर्माण को तोड़ना चाहिए लेकिन जो तेजी आवास विकास के अधिकारियों ने इस निर्माण को तोड़ने में लगाई वहीं तेजी अगर वह बड़े-बड़े बिल्डरों और कॉलोनाइजरो के अवैध निर्माण को तोड़ने में लगाए तो जनता में मैसेज कहीं ज्यादा अच्छा जाएगा। जब हमने इस मामले में एक्शन सुमित कुमार से बात की तो वह सवालों से बचते हुए नजर आए।