अतीक अहमद और उनके भाई अशरफ अहमद की हत्या पर बवाल जारी है, हैदराबाद के सांसद और एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने हत्या का जश्न मनाने वालों की निंदा की और उन्हें “गिद्ध” कहा है । ओवैसी ने कहा, इसमें उत्तर प्रदेश की भाजपा सरकार की भूमिका है। जिसकी सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में जांच होनी चाहिए और एक समिति बनाई जानी चाहिए । इसके साथ ही उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश के किसी भी अधिकारी को समिति में शामिल नहीं किया जाना चाहिए। यह एक ‘सोल्ड ब्लडेड’ हत्या थी।
ओवैसी ने कहा, ‘अतीक दूसरे मुस्लिम पूर्व सांसद है, जिसकी बेरहमी से हत्या कर दी गई । उन्होंने कहा कि एहसान जाफरी को 2002 में गुजरात में भीड़ द्वारा बेरहमी से मार डाला गया था और ऐसा ही अब अतीक के साथ भी हुआ है, जिनकी पुलिस हिरासत में गोली मारकर हत्या कर दी गई।
इसके साथ ही औवैसी ने प्रदेश सरकार पर हत्या का आरोप मढ़ते हुए कहा कि हत्यारे गरीब परिवार से आते हैं । उन्होंने कहा कि अतीक की हत्या करने के बाद हत्यारे धार्मिक नारे लगा रहे थे, इस हत्यारों को आतंकवादी नहीं तो और क्या कहेंगे ।
उन्होंने कहा कि यह घटना कानून व्यवस्था की स्थिति पर बड़ा सवाल खड़ा करती है।AIMIM प्रमुख ने सवाल किया कि क्या इस घटना के बाद जनता का देश के संविधान और कानून-व्यवस्था पर भरोसा रह गया है। उन्होंने कहा, मैं हमेशा कहता रहा हूं कि उत्तर प्रदेश में बीजेपी कानून के राज से नहीं बल्कि बंदूक के राज से सरकार चला रही है।
इस घटना के बाद ओवैसी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के इस्तीफे की मांग की है । उन्होंने कहा मैं यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के इस्तीफे और सुप्रीम कोर्ट से एक टीम बनाने और इस मामले की जांच करने की मांग करता हूं। हम यह भी मांग करते हैं कि वहां मौजूद सभी पुलिस अधिकारियों को सेवा से हटा दिया जाए।