Rajender Nagar : दिल्ली के राउज आईएएस स्टडी सर्कल में तीन स्टूडेंट्स की मौत ने सबको बहुत दुखी कर दिया है। यूपीएससी की तैयारी कर रहे हजारों स्टूडेंट्स अपने साथियों की इस तरह की मौत से हैरान हैं। वहीं, वे जिनकी मोटिवेशनल स्पीच सुनकर यूपीएससी पास करने का हौसला रखते थे, उनकी चुप्पी से नाराज हैं।
इसको लेकर कई स्टूडेंट्स सोशल मीडिया पर अलग-अलग यूपीएससी टीचर्स को निशाना बना रहे थे, जिसमें दृष्टि आईएएस के विकास दिव्यकीर्ति और ओझा सर भी शामिल थे। यूपीएससी की तैयारी कर रहे इन स्टूडेंट्स की मौत पर किसी प्रतिक्रिया न मिलने से उन्होंने सोशल मीडिया पर अभियान चलाना शुरू कर दिया था। इसके बाद ओझा सर ने एक वीडियो जारी किया है जिसमें उन्होंने इस हादसे के शिकार स्टूडेंट्स के प्रति संवेदना व्यक्त की है, सरकार से कई मांगें की हैं, और पूर्व में हुए हादसों की ओर भी ध्यान दिलाया है कि तब क्यों कोई धरना प्रदर्शन नहीं हुआ।
ओझा ने सरकार से कानून बनाने की मांग की
अवध ओझा ने अपने वीडियो में सरकार से सख्त कानून बनाने की मांग की है। उन्होंने कहा कि “पहले उन सभी दिवंगत छात्रों को श्रद्धांजलि जिन्होंने राजेंद्र नगर (Rajender Nagar) की वर्षा जल दुर्घटना में जान गंवाई। भगवान उनके परिवार को दुख सहन करने की शक्ति दे।” उन्होंने आगे कहा कि सवाल यह नहीं है कि ऐसी घटनाएं कैसे घटित होती हैं, बल्कि यह है कि क्यों घटित होती हैं। उन्होंने सूरत की 24 मई 2019 की घटना का उल्लेख किया, जिसमें 22 बच्चे जलकर मरे थे।
ओझा सर ने मुखर्जी नगर में हुए एक हादसे का हवाला देते हुए कहा कि वहाँ आग लगने पर बच्चों ने बिल्डिंग से कूदकर जान बचाई, जिसे पूरी दुनिया ने देखा। उन्होंने राजकोट के एक गेमिंग जोन हादसे का भी जिक्र किया, जहां काफी बच्चे मरे थे लेकिन कोई प्रतिक्रिया नहीं आई। अंत में, उन्होंने राजेंद्र नगर में घटित घटना का हवाला देते हुए कहा कि बच्चों की मौत हुई है।
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गुनहगारों की संपत्ति होनी चाहिए सील – अवध ओझा
अवध ओझा ने अपने वीडियो में संपत्ति सील और आजीवन कारावास की मांग की। उन्होंने कहा कि सरकार को ऐसा कानून बनाना चाहिए कि अगर ऐसी जगहों पर बच्चों की मृत्यु होती है, तो मौत जिनकी लापरवाही से हुई हो, उनकी संपत्ति सील की जाए। साथ ही, जिन अधिकारियों ने एनओसी दी हो, उनकी संपत्ति भी सील की जाए और उन्हें आजीवन कारावास की सजा दी जाए
। ओझा सर ने चेतावनी दी कि अगर सख्त कानून नहीं लाया गया, तो ऐसी घटनाएं होती रहेंगी। उन्होंने कहा कि संबंधित प्राधिकरण को घेरकर कहना होगा कि भविष्य में बेसमेंट में कोई व्यक्ति न हो। उन्होंने सुझाव दिया कि भविष्य में यदि किसी संस्थान या इंस्टीट्यूट में लापरवाही से ऐसा होता है, तो उसकी संपत्ति सील की जाए और संबंधित ऑनर को आजीवन कारावास की सजा दी जाए।