Hemant Soren Case: सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार (17 मई) को मनी लॉन्ड्रिंग मामले में झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की चुनाव प्रचार के लिए अंतरिम जमानत की याचिका पर विचार करने से इनकार कर दिया। हेमंत सोरेन ने लोकसभा चुनाव 2024 के प्रचार के लिए अस्थायी रिहाई की मांग की थी।
सोरेन ने कोर्ट से मांगी अंतरिम जमानत
जेएमएम नेता सोरेन के वकील कपिल सिब्बल ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि सोरेन 2 जून को आत्मसमर्पण कर देंगे। इस पर ईडी ने कहा कि सोरेन को 31 जनवरी को गिरफ्तार किया गया था और चुनाव प्रचार रिहाई का आधार नहीं हो सकता। कोर्ट ने तत्काल राहत देने से इनकार करते हुए ईडी को सोमवार तक लिखित जवाब दाखिल करने को कहा। अब इस मामले (Hemant Soren Case) की सुनवाई मंगलवार, 21 मई को होगी। झारखंड में एक दौर का मतदान हो चुका है और आगे 20 मई, 25 मई, और 1 जून को मतदान होना है।
आज शुक्रवार (17 मई) को जब मामला उठा, तो ईडी की ओर से अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एसवी राजू ने समय मांगा। पीठ ने एएसजी से अंतरिम जमानत की याचिका के बारे में पूछा। इसके जवाब में एएसजी ने कहा कि सोरेन को बहुत पहले (31 जनवरी) गिरफ्तार किया गया था और उनकी नियमित जमानत याचिका खारिज कर दी गई थी। उन्होंने यह भी बताया कि चुनाव के चार चरण पहले ही समाप्त हो चुके हैं।
इस मामले पर जस्टिस खन्ना ने कहा
जस्टिस खन्ना ने कहा कि जब तक पीठ प्रथम दृष्टया संतुष्ट नहीं होती, कोई आदेश पारित नहीं किया जा सकता। पीठ ने यह भी बताया कि आज विस्तृत सुनवाई का समय नहीं है, क्योंकि अरविंद केजरीवाल का मामला दोपहर 2.30 बजे सुनवाई के लिए सूचीबद्ध था। जस्टिस खन्ना ने आगे कहा, “हमें प्रथम दृष्टया संतुष्ट होना होगा कि कोई समस्या है। राजू कहते हैं कि वह तैयार नहीं हैं। हम इसे अगले सप्ताह, जब भी आप चाहें, रख सकते हैं।”