सबसे ज्यादा यूपी को फायदा
गुरुवार को अधिकारी सूत्रों ने बताया कि आबादी के कारण उत्तर प्रदेश में आपराधिक मुकदमों की संख्या सबसे अधिक है। उत्तर प्रदेश भी स्वाभाविक रूप से इससे सबसे अधिक लाभ उठाएगा। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के लिए नए कानून बोनस की तरह होंगे। योगी सरकार ने इसलिए इनके प्रति प्रतिबद्धता जताई है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पिछले दिनों नए कानून को लागू करने में हुई प्रगति की समीक्षा की। ये भी लागू करने और सभी स्टेक होल्डर्स को इनके बारे में शिक्षित करने के लिए आवश्यक निर्देश दिए।
नए भारत की नयी आत्मा
उन्होने कहा कि ये परिवर्तन विश्व में सबसे बड़े (New Laws) लोकतांत्रिक देश की सोच से मेल खाते हैं। यह अपने शरीर, मन और आत्मा में भारतीय है। इन बदलावों में अधिकतम सुशासन, पारदर्शिता, संवेदनशीलता, जवाबदेही और बच्चों और महिलाओं के हित पर खासा ध्यान दिया गया है। न्याय न्याय की जगह दंड है। नीचे से ऊपर तक जांच और साक्ष्य के लिए नवीनतम तकनीक का इस्तेमाल किया गया है, जिससे शीघ्र न्याय मिल सके। किसी भी मामले में न्याय की सीमा निर्धारित होगी। कम्यूनिटी सर्विसेज ने पहली बार छोटे मोटे मामलों का समाधान किया है। इस बदलाव से सेशन कोर्ट में ही चालिस प्रतिशत मुकदमे निस्तारित होंगे।
Bakrid: बकरीद से पहले CM योगी ने अधिकारियों को कड़े निर्देश दिए, जानिए क्या होगा
राजद्रोह कानून तगड़ा
गौरतलब है कि नए क्रिमिनल जस्टिस ने राजद्रोह पर प्रतिबंध लगा दिया है। भारतीय संप्रभुता का किसी भी प्रकार से विरोध करने वालों को कड़ी सजा दी गई है। यह पहली बार है कि देश की सबसे बड़ी समस्या, आतंकवाद, को स्पष्ट रूप से परिभाषित किया गया है। इसी तरह पहली बार संगठित अपराध और मॉब लीचिंग को परिभाषित किया गया था।
चैन स्नैचिंग पर शख्त कानून
हाल ही में कानून बनाने के लिए महिलाओं के लिए चेन और मोबाइल छीनैती एक (New Laws) बड़ी चुनौती बन गई है। जिस भी महिला को ऐसा कुछ होता है, वह बेहोश हो जाती है। इस छोटी झपटी में महिला को कभी-कभी गंभीर चोट लगती है। ऐसी चोट जो अपंगता या जानलेवा हो सकती है यह भी पहली बार हुआ है कि इसके लिए नए कानून बनाए गए हैं।
गवाहों की सुरक्षा
लालच, दबाव और भय के कारण गवाहों को छिपाना आम है। नए कानूनों में उनकी सुरक्षा की कड़ी व्यवस्था की गई है। साथ ही परिस्थितिजन्य साक्ष्य पर तकनीक से जोर दिया गया है। उससे गवाही भी नहीं मिलेगी। इससे पुलिस भी पूरी प्रक्रिया में जिम्मेदार होगी। वह अपने अधिकारों को बेजा नहीं उपयोग कर सकेगी।
313 धाराएं कुल मिलाकर बदली गई हैं। जो धाराएं अप्रासंगिक थीं, वे हटा दी गईं। कुछ में नई टाइमलाइन भी मिली है। इन परिवर्तनों से देश गुलामी से मुक्त होगा। यह क्रिमिनल जस्टिस में एक नए युग की शुरुआत होगी। इसकी खूबसूरती यह होगी कि यह अब भारतीय संसद, भारतीयों और भारत के कानूनों से चलेगा। यह श्रेष्ठ भारत की भावना के अनुरूप होगा।