नई दिल्लीः दिल्ली में सोमवार को स्कूल कैब पूरी तरह से बंद रहेंगी. जिससे करीब 6 लाख बच्चों को स्कूल जाने में परेशानी होगी. वहीं परिवहन विभाग द्वारा चलाए जा रहे जांच अभियान के खिलाफ राजधानी के करीब 35 हजार कैब चालक सोमवार को हड़ताल पर रहेंगे.
स्कूल परिवहन एकता यूनियन के आह्वान पर सभी वाहन चालक धरना में शामिल हो रहे हैं. हड़ताल आगे बढ़ाने को लेकर यूनियन पदाधिकारियों ने कहा है कि अगर हमारी मांगें नहीं मानी गई तो सोमवार शाम को बैठक कर हड़ताल को आगे बढ़ाने का फैसला लिया जाएगा.
दिल्ली के कुछ इलाकों में प्रदर्शन करने की भी घोषणा की गई है. इसकी वजह से जाम की स्थिति बन सकती है. इसके साथ ही यूनियन का आरोप है कि पिछले दो सप्ताह से परिवहन विभाग स्कूल कैब को लेकर अभियान चला रहा है.
लगभग 700 से ज्यादा कैब सीज
जानकारी के मुताबिक अब तक 700 से ज्यादा कैब सीज की जा चुकी हैं, जिससे कैब चालकों को फ्री में लेने के लिए मोटी रकम खर्च करनी पड़ रही है. दरअसल, दिल्ली में 50 फीसदी से ज्यादा स्कूल कैब गैर-व्यावसायिक हैं. इसको लेकर परिवहन विभाग का कहना है कि अगर कोई दुर्घटना होती है तो उसके लिए कौन जिम्मेदार होगा. कैब में निर्धारित सीटों से ज्यादा बच्चों को बैठाया जा रहा है, इसीलिए अभियान चलाया जा रहा है.
अभिभावकों के सामने मुश्किलें खड़ी
इस बीच कैब चालकों की हड़ताल के बीच अभिभावकों के सामने मुश्किलें खड़ी हो गई हैं. दिल्ली में बड़ी संख्या में ऐसे बच्चे हैं, जिनके माता-पिता दोनों जॉब करते हैं. वे स्कूल कैब लगाते हैं ताकि बच्चों को स्कूल भेजने में कोई दिक्कत न हो. लेकिन अब हड़ताल की वजह से उन्हें छुट्टी लेकर बच्चों को स्कूल छोड़ना होगा. अपने बच्चों के लिए ऑफिस से छुट्टी लेनी पड़ेगी.हड़ताल से अभिभावकों के सामने कई मुश्किलें खड़ी हो गई हैं.
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