VBG Ram G Bill Passed in Lok Sabha: संसद का शीतकालीन सत्र जारी है और गुरुवार को लोकसभा में जोरदार हंगामा देखने को मिला। केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान भारत गारंटी फॉर रोजगार एंड आजीविका मिशन (ग्रामीण) बिल, यानी VBG राम जी बिल पर जवाब दे रहे थे। इसी दौरान विपक्षी दलों ने जमकर नारेबाजी की। कुछ सांसदों ने बिल की प्रतियां फाड़कर सदन में फेंक दीं और वेल में पहुंच गए। भारी हंगामे के बावजूद यह विधेयक लोकसभा में ध्वनि मत से पारित कर दिया गया।
शिवराज बोले– हम गांधी जी को मानते हैं
बिल पर चर्चा के दौरान शिवराज सिंह चौहान ने कांग्रेस पर सीधा हमला बोला। उन्होंने कहा कि कांग्रेस हमेशा गांधी जी का नाम लेती है, लेकिन कभी उनके विचारों पर नहीं चली। शिवराज ने कहा कि गांधी जी ने आजादी के बाद कांग्रेस को भंग करने की बात कही थी, लेकिन उनकी बात को कभी गंभीरता से नहीं लिया गया। उन्होंने यह भी कहा कि जिस दिन कश्मीर को विशेष दर्जा दिया गया, उसी दिन संविधान की भावना को चोट पहुंची थी।
मनरेगा में खामियां दूर की गईं
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार ने मनरेगा की कई कमियों को दूर किया है। उन्होंने आरोप लगाया कि पिछली सरकारों के समय इस योजना में बड़े पैमाने पर गड़बड़ियां हुईं। शिवराज ने कहा कि हमारी सरकार ने पारदर्शिता लाई और पैसे का सही इस्तेमाल सुनिश्चित किया।
कांग्रेस पर फंड के दुरुपयोग का आरोप
शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि सरकार किसी के साथ भेदभाव नहीं करती। बापू हमारे लिए प्रेरणा हैं और पूरा देश एक परिवार की तरह है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस की सोच सीमित रही है। शिवराज ने तीखे शब्दों में कहा कि कांग्रेस ने मनरेगा को भ्रष्टाचार के हवाले कर दिया था। उनके मुताबिक, कांग्रेस के शासन में योजना का पैसा सही जगह नहीं पहुंच पाया।
गरीबों और किसानों के लिए फायदेमंद बिल
विपक्ष के हंगामे के बीच शिवराज ने साफ कहा कि यह बिल किसानों, मजदूरों और गरीब परिवारों के हित में है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकार का जवाब सुनना ही नहीं चाहती। असलियत यह है कि पहले फंड का गलत इस्तेमाल हुआ, जबकि अब पैसा विकास कार्यों पर खर्च किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि इसके बावजूद कांग्रेस सिर्फ विरोध कर रही है।
योजनाओं के नाम पर भी तंज
शिवराज सिंह चौहान ने प्रियंका गांधी पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने महात्मा गांधी की जगह अपने परिवार के नाम पर योजनाओं का नामकरण किया। उन्होंने आरोप लगाया कि नेहरू परिवार का महिमामंडन करने के लिए सरकारी योजनाओं को उनके नाम से जोड़ा गया।
राजनीतिक टकराव के बीच बड़ा फैसला
लोकसभा में हुए इस घटनाक्रम ने साफ कर दिया कि आने वाले दिनों में इस बिल को लेकर राजनीति और तेज होगी। सरकार इसे गरीबों और ग्रामीणों के लिए जरूरी कदम बता रही है, जबकि विपक्ष इसे गलत फैसला बता रहा है। हंगामे के बीच बिल का पास होना सरकार के लिए बड़ी राजनीतिक जीत माना जा रहा है।
