Election Commission क्या बिहार के बाद अब पूरे देश में SIR करेगा, इसमें किन चीजों की होगी जांच पहला फेज कितने राज्य में होगा

चुनाव आयोग ने बिहार की तरह अब देशभर में SIR प्रक्रिया शुरू करने का फैसला लिया है। पहले चरण में पांच राज्यों में यह सर्वे होगा। उद्देश्य पारदर्शी चुनाव सुनिश्चित करना।

Election Commission to Conduct SIR Across the Country: बिहार में सफल प्रयोग के बाद अब चुनाव आयोग ने देशभर में SIR (Systematic Investigation and Review) करवाने का फैसला किया है। इस प्रक्रिया के तहत चुनाव आयोग मतदाता सूची, बूथ प्रबंधन और मतदान केंद्रों की स्थिति की गहराई से जांच करेगा। उद्देश्य है कि अगले विधानसभा चुनावों से पहले सभी तैयारियां पूरी हों और किसी मतदाता को मतदान में परेशानी न हो।

पहले फेज में पांच राज्यों का चयन

पहले चरण में चुनाव आयोग ने पांच राज्यों पश्चिम बंगाल, असम, तमिलनाडु, केरल और पुदुचेरी को चुना है। इन राज्यों में अगले साल विधानसभा चुनाव प्रस्तावित हैं। आयोग चाहता है कि समय रहते मतदाता सूची की गलतियों को सुधारा जाए और मतदान केंद्रों को आधुनिक सुविधाओं से लैस किया जाए ताकि मतदाताओं को बेहतर अनुभव मिले।

SIR में किन चीजों की जांच होगी

इस प्रक्रिया में अधिकारी बूथ स्तर तक जाकर जांच करेंगे। वे यह सुनिश्चित करेंगे कि मतदाता सूची में मृत या दोहराए गए नाम न हों। साथ ही, मतदान केंद्रों की सुरक्षा, बिजली-पानी की व्यवस्था और दिव्यांग मतदाताओं के लिए आवश्यक सुविधाओं का भी मूल्यांकन किया जाएगा। इसके अलावा, बूथ लेवल अधिकारियों (BLOs) की कार्यप्रणाली और प्रशिक्षण पर भी नजर रखी जाएगी।

मतदाताओं की जागरूकता पर जोर

SIR अभियान का एक अहम लक्ष्य मतदाताओं में जागरूकता बढ़ाना है। चुनाव आयोग चाहता है कि ज्यादा से ज्यादा नागरिक लोकतंत्र के इस पर्व में हिस्सा लें। इसके लिए आयोग स्कूलों, कॉलेजों और सामाजिक संगठनों के सहयोग से जन-जागरूकता अभियान चलाएगा। पहली बार वोट देने वाले युवाओं पर विशेष ध्यान दिया जाएगा ताकि वे मतदान की प्रक्रिया से जुड़ सकें।

बिहार मॉडल से मिली प्रेरणा

बिहार में हाल ही में संपन्न SIR प्रक्रिया के नतीजे काफी सकारात्मक रहे। वहां मतदाता सूची अधिक सटीक हुई और मतदान प्रतिशत में भी सुधार देखा गया। इसी मॉडल को देखते हुए आयोग ने तय किया कि अब इसे राष्ट्रीय स्तर पर लागू किया जाएगा ताकि हर राज्य में चुनाव की पारदर्शिता और निष्पक्षता सुनिश्चित हो सके।

चुनाव आयोग की सख्त निगरानी

चुनाव आयोग ने स्पष्ट किया है कि SIR रिपोर्ट पूरी तरह निष्पक्ष और सटीक होनी चाहिए। यदि किसी स्तर पर लापरवाही पाई जाती है तो संबंधित अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। सभी राज्यों को निर्धारित समयसीमा में अपनी रिपोर्ट आयोग को सौंपनी होगी ताकि आवश्यक सुधार तुरंत किए जा सकें।

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