कानपुर में बुधवार को दशहरा पर हुई मूसलाधार बारिश ने त्योहार का मजा किरकिरा कर दिया। बुराई पर अच्छाई की जीत के प्रतीक दशहरा पर्व होने वालो आयोजनों में खलल डाल दी। कहीं आयोजन कैंसिल हुआ तो कही जल्दी में औपचारिकता निभाई गयी। दो घंटे तक झमाझम पानी गिरने से ज्यादातर स्थानों पर रावण के पुतले धराशायी हो गए। रामलीला पंडाल जलमग्न हो गए और चारों ओर कीचड़ का अंबार लग गए। ऐतिहासिक परेड ग्राउंड पर खड़ा रावण का पुतला दहन से पहले ही छिन्न- भिन्न हो गया। पुतले का हाथ पूरी तरह से धुल गया। शास्त्रीनगर सेंचर पार्क में पुतला भीग गया। मैदान में मंच तक पानी भर गया। चंद्रिका देवी मंदिर रायपुरवा रामलीला मैदान में पुतले को बैनर व पॉलीथिन से ढकर किसी तरह बचाया गया। सुबह से ही आयोजक चिंतित दिखे। गोविंद नगर में रावण का पुतला भीगकर बर्बाद हो गया। कई स्थानों पर पॉलीथीिन से ढक्कर किसी तरह बचाया गया। सुबह से ही आयोजक चिंतित दिखे। गोविंद नगर में रावण का पुतला भीगकर बर्बाद हो गया। कई स्थानों पर पॉलीथिन से पुतलों को ढका गया।
कानपुर में पिछले 146 वर्षो से होने वाली परेड की रामलीला पूर्ण वैभ के साथ सम्पन्न हुई। मुख्य अतिथि सांसद सत्यदेव पचौरी, महापौर प्रमिला पाणडे, विधायक अमिताभ बाजपेई, विधायक महेश त्रिवेदी और कमेटी अध्यक्ष महेंदआ मोहन गप्त सहित कई राजनेताओं और सामाजसेवियों ने भगवान की आरती की। बारिश के बावजूद यहाँ शोभा यात्रा निकली, राम रावण युद्ध हुआ। मबासंग्राम में भगवान राम ने संकेश का वध किया तो श्रद्धालुओं ने जय जय श्री राम का उदघोष किया। यगां लेजर शो के साथ ही आतिशबाजी भी की गयी।
रावण के पुतले दहन के दौरान लोगों में खासा जोश नजर आया। इसके बाद विजय यात्रा निकली, जिसमें श्रद्धालुओं ने भगवान रहाम लक्षमण और सीता की आरती की। आपको बता दें कि बारिश से पुतला तहस नहस होने के साथ ही मैदान में भी पानी भर गया था। लेकिन आयोजकों ने समय रहते व्यवस्थाएं पूर्ण कर ली। समापन के दौरान पुलिस कमिश्नर बीपी जोगदंड,जिलाधिकारी विशाख जी, अपर जिलाधिकारी अतुल कमार ने विशेष रुप से शिरकत की। इस मौके पर परेड रामलीला सोसाइटी के प्रधामंत्री कमल किशोर अग्रवाल, वरिष्ठ उपाध्यक्ष राजीव गर्ग, मंत्री राम जी मेहरोत्रा, उपाध्यक्ष अलोक अग्रवाल ने विशेष भूमिका निभाई। इस दौरान सुरक्षा के मद्देनजर बड़ी संख्या में पुलिस के जवान तैनात किए गए थे ।