इंग्लिश मीडियम के दबाव से परेशान छात्रा ने उठाया खौ़फनाक कदम, लेकिन क्यों?

तेलंगाना में 11वीं की छात्रा ने इंग्लिश मीडियम की पढ़ाई से परेशान होकर आत्महत्या कर ली। परिवार के ध्यान न देने के कारण छात्रा ने जहरीली दवाई खाकर अपनी जान ले ली।

Student suicide

Telangana news: आखिर कब तक मासूम बच्चे पढ़ाई के प्रेशर में आकर अपनी जान गवाते रहेंगे ये जो बच्चे पढ़ने में कमजोर होते है।इनको क्यों नहीं समझा जाता ये बच्चे पढ़ाई के प्रेशर से बचने के लिए अपनी जान देने का रास्ता ज्यादा आसान क्यों समझते हैं ऐसे ही फिर एक घटना सामने आई जो दिल दहला के रख देगी तेलंगाना के मंचेरियल जिले में इंग्लिश मीडियम की पढ़ाई से परेशान होकर एक 11वीं की छात्रा ने आत्महत्या कर ली, छात्रा ने अपने परिवार को बताया था कि वह अंग्रेजी मीडियम में अपनी पढ़ाई नहीं कर पा रही है, लेकिन परिवार ने अगले साल देखेंगे कहकर बात टाल दी थी. जिसके बाद छात्रा ने जहर खाकर आत्महत्या कर ली.इस घटना ने देशभर में हलचल मचा दी है।

क्या है पूरा मामला

मंचेरियल जिले के पोथनपल्ली गांव में रहने वाले नलतुकुरी बनेश और कविता के दो बच्चे हैं. बड़ी बेटी का नाम अनुश्री (16) था. अनुश्री रामकृष्णपुर के कस्तूरबा स्कूल से इंटर की पढ़ाई कर रही थी. छात्रा ने अपनी 10 तक की पढ़ाई तेलुगु मीडियम से पूरी थी. वहीं, इंटर फर्स्ट ईयर में उसका एडमिशन इंग्लिश मीडियम के स्कूल में हो गया था. छात्रा को क्लास में कुछ भी समझ नहीं आ रहा था. वह क्लास में खुद को बेहद बेबास और कमजोर महसूस कर रही थी।

 

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छात्रा ने क्यों उठाया ये कदम

छात्रा ने इस के बारे में अपने पिता से कई बार कहा कि अंग्रेजी समझ नहीं आती और मेरा एडमिशन तेलुगु मीडियम में स्कूल में करवा दीजिए, लेकिन पिता ने तुरंत समझने की बजाय बेटी को अगले साल तेलुगु मीडियम स्कूल में एडमिशन कराने की बात कहीं. इसी बीच छात्रा ने खेती में इस्तेमाल होने वाली जहरीली दवाई पी ली. इस बात का पता चलते ही परिवार के लोग छात्रा को अनान-फानन में मंचेरियल जिला अस्पताल लेकर पहुंचे।

परिवार को अब हुआ अहसास

जिला अस्पताल में हालत बिगड़ने पर परिवार के लोग छात्रा के एक निजी अस्पताल में लेकर पहुंचे, जहां इलाज के दौरान छात्रा की मौत हो गई. घटना के बाद से ही पीड़ित परिवार का रो-रोकर बुरा हाल है. परिवार के लोग अब स्कूलों बदलवाने की बात सोच-सोचकर रो रहे हैं।

समझे खुद के बच्चे को

सोसायटी में नाम खराब होने की वजह से अपने बच्चों पर पढ़ाई का दबाव न बनाए, बल्कि उसको समझे उसके साथ वक्त बिताए जानने की कोशिश करे कि आपके बच्चे को किस फील्ड में दिलचस्पी है। उसको प्यार से समझाए ताकि फिर कोई बच्चा अपनी जान लेना आसान न समझे।

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