आदेश जारी होते ही मचा बवाल
कोलकाता नगर निगम के शिक्षा विभाग ने 25 फरवरी को एक आधिकारिक आदेश जारी किया, जिसमें विश्वकर्मा पूजा (Eid holiday dispute) की छुट्टी रद्द करने और ईद की छुट्टी को दो दिन करने की बात कही गई थी। आदेश के अनुसार, राज्य में ईद उल फितर की छुट्टी 31 मार्च 2025 और 1 अप्रैल 2025 को दी जानी थी। जैसे ही यह जानकारी सार्वजनिक हुई, विवाद खड़ा हो गया।
बीजेपी ने इसे “हिन्दू विरोधी मानसिकता” का उदाहरण बताते हुए ममता सरकार पर निशाना साधा। पार्टी के नेताओं ने दावा किया कि तृणमूल कांग्रेस (TMC) सरकार केवल मुस्लिम तुष्टिकरण के लिए ऐसा कर रही है। बीजेपी के महासचिव (Eid holiday dispute) जगन्नाथ चट्टोपाध्याय ने कहा, “यह विश्वास करना मुश्किल है कि नगर निगम के अधिकारी इस आदेश के परिणामों से अनजान थे। बिना किसी राजनीतिक इशारे के कोई भी अधिकारी इस तरह का फैसला नहीं ले सकता।”
सफाई देने में जुटी ममता सरकार
विवाद के बढ़ने के बाद कोलकाता नगर निगम हरकत में आया और इस आदेश को तत्काल प्रभाव से रद्द कर दिया गया। नगर निगम के अनुसार, यह आदेश “गलती से जारी” हो गया था और इसे “टाइपिंग मिस्टेक” बताया गया।
नगर निगम के शिक्षा विभाग के प्रमुख अधिकारी को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है, और इस (Eid holiday dispute) गलती के लिए जिम्मेदार व्यक्ति पर अनुशासनात्मक कार्रवाई की जा सकती है। नगर निगम के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, “राज्य सरकार की छुट्टियों की सूची को मौजूदा मानदंडों के अनुसार जारी किया जाएगा और जल्द ही एक संशोधित आदेश निकाला जाएगा।”
फिरहाद हकीम पर बीजेपी का हमला
बीजेपी ने इस पूरे विवाद को कोलकाता नगर निगम के मेयर और TMC नेता फिरहाद हकीम से जोड़ दिया है। पार्टी का आरोप है कि हकीम के निर्देश पर ही यह आदेश जारी किया गया था। बीजेपी नेता अमित मालवीय ने कहा, “ममता बनर्जी के करीबी सहयोगी और आधुनिक सुहरावर्दी फिरहाद हकीम ने कोलकाता नगर निगम के स्कूलों में विश्वकर्मा पूजा की छुट्टी खत्म करने का आदेश दिया। यह हिन्दुओं, विशेष रूप से ओबीसी समुदाय के लिए महत्वपूर्ण पर्व है।”
ममता बनर्जी का ‘मृत्युकुंभ’ विवाद भी गरमाया
इससे पहले, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ मेले को ‘मृत्युकुंभ’ कहकर विवाद खड़ा कर दिया था। उन्होंने आरोप लगाया कि आयोजन में वीआईपी लोगों को विशेष सुविधाएं दी जा रही हैं, जबकि आम श्रद्धालुओं के लिए पर्याप्त (Eid holiday dispute) व्यवस्थाएं नहीं हैं। उन्होंने कहा कि महाकुंभ अब अपनी मूल भावना खो चुका है और “मृत्युकुंभ” में बदल गया है।
ममता बनर्जी के इस बयान को लेकर बीजेपी ने तीखा पलटवार किया और इसे हिन्दू धर्म का अपमान बताया। बीजेपी नेता कैलाश विजयवर्गीय ने कहा, “महाकुंभ को ‘मृत्युकुंभ’ कहना करोड़ों हिन्दुओं की भावनाओं को आहत करने जैसा है। यह बयान निंदनीय है और इसका जवाब जनता 2026 के विधानसभा चुनाव में देगी।”
राजनीतिक टकराव तेज़
विश्वकर्मा पूजा की छुट्टी के विवाद और ममता बनर्जी के महाकुंभ पर बयान ने बंगाल में सियासी माहौल गरमा दिया है। बीजेपी लगातार TMC पर हिन्दू विरोधी राजनीति करने का आरोप लगा रही है, जबकि ममता सरकार इसे ‘राजनीतिक हंगामा’ करार दे रही है। आने वाले दिनों में बंगाल की राजनीति में यह मुद्दा और तूल पकड़ सकता है।