Neeraj Chopra : 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद पूरे देश में आक्रोश की लहर है। इस हमले में 25 निर्दोष पर्यटक और एक स्थानीय नागरिक की जान चली गई, जिससे जनता गहरे सदमे और गुस्से में है। ऐसे समय में, पाकिस्तान और आतंकवाद के प्रति गुस्से का माहौल बनने के बीच, एथलीट नीरज चोपड़ा को सोशल मीडिया पर आलोचनाओं का सामना करना पड़ रहा है।
अरशद नदीम को बुलावे पर मचा बवाल
नीरज चोपड़ा अगले महीने 24 तारीख को बेंगलुरु में होने वाले एनसी क्लासिक नामक विश्व स्तरीय एथलेटिक्स टूर्नामेंट की मेज़बानी कर रहे हैं। इस आयोजन में दुनियाभर के शीर्ष भाला फेंक एथलीटों को आमंत्रित किया गया है, जिसमें पाकिस्तान के ओलंपिक पदक विजेता अरशद नदीम का नाम भी शामिल था। मगर पहलगाम हमले के बाद देशवासियों की भावनाएं भड़क उठीं और कई लोगों ने नीरज की इस पहल पर उनकी राष्ट्रभक्ति पर सवाल उठाने शुरू कर दिए।
नीरज चोपड़ा ने तोड़ी चुप्पी
लगातार ट्रोलिंग और देशप्रेम पर सवाल उठाए जाने के बाद, नीरज चोपड़ा ने सोशल मीडिया पर एक भावुक बयान जारी किया। उन्होंने लिखा, “मैं आमतौर पर बहुत कम बोलता हूं, लेकिन जब बात मेरे देश और मेरे परिवार की प्रतिष्ठा पर आ जाए, तो चुप रहना मुमकिन नहीं।” नीरज ने साफ किया कि वह हमेशा देश को सर्वोपरि मानते हैं और कभी भी ऐसी कोई पहल नहीं करेंगे जिससे भारत के हितों को ठेस पहुंचे।
— Neeraj Chopra (@Neeraj_chopra1) April 25, 2025
अरशद नदीम अब नहीं होंगे टूर्नामेंट का हिस्सा
नीरज ने यह भी स्पष्ट कर दिया कि अब अरशद नदीम इस प्रतियोगिता में हिस्सा नहीं लेंगे। उन्होंने लिखा, “पिछले 48 घंटों में जो परिस्थितियां बनी हैं, उसके बाद अरशद की इस आयोजन में भागीदारी की कोई संभावना नहीं है। मेरे लिए मेरा देश सबसे पहले आता है।” नीरज ने देशवासियों के दुःख में अपनी संवेदना व्यक्त करते हुए कहा कि वह भी इस हमले से उतने ही व्यथित और क्रोधित हैं जितना देश का हर नागरिक।
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अपने बयान में नीरज ने यह भी कहा कि उन्हें इस बात का दुख है कि उन्हें अपनी नीयत अपने ही देशवासियों को समझानी पड़ रही है। “मैं वर्षों से गर्व के साथ भारत का प्रतिनिधित्व कर रहा हूं, और आज मेरे समर्पण पर सवाल उठते देखना पीड़ादायक है। मेरे और मेरे परिवार को निशाना बनाना अनुचित है। हम साधारण लोग हैं, कृपया हमें किसी और नजरिए से मत देखिए।” नीरज ने मीडिया के कुछ वर्गों पर भी निराशा जताई और कहा कि कुछ संस्थानों ने उनके खिलाफ झूठी कहानियां फैलाईं, जो तथ्य से कोसों दूर हैं।
“पलभर में बदलती है लोगों की सोच”
बयान के अंत में नीरज ने इस बात पर भी अफसोस जताया कि किस तरह लोगों की सोच और समर्थन पल भर में बदल जाता है। “एक साल पहले मेरी मां ने एक मासूम टिप्पणी की थी, जिसे लोगों ने सराहा था। आज वही लोग उसी बात को लेकर उन्हें निशाना बना रहे हैं।”