कर्नाटक सरकार ने नौकरियों और शिक्षा में आरक्षण को लेकर दो बड़े फैसले लिए है। दरअसल सरकार ने OBC मुसलमानों के लिए 4% कोटा खत्म कर दिया। तो वहीं ये 4% कोटा वोक्कालिगा और लिंयागत समुदायों में बांट दिया गया है।
वोक्कालिगा के लिए कोटा 4% से बढ़ाकर 6% कर दिया गया और वीरशैवों, पंचमसालियों और अन्य लिंगायत श्रेणियों के लिए कोटा 5% से बढ़ाकर 7% हो गया है। अब मुस्लिम समुदाय को EWS कोटे के तहत आरक्षण दिया जाएगा।
बता दें कि विधानसभा चुनाव से पहले मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने यह घोषणा की है। CM ने जानकारी देते हुए बताया कि हमने कुछ बड़े निर्णय लिए हैं। कैबिनेट कमेटी के सुझाव के बाद हमने कोटा कैटेगरी में बदलाव का फैसला लिया है।
इस फैसले के तहत अनुसूचित जाति के लिए रिजर्वेशन 15% से बढ़ाकर 17% और अनुसूचित जनजाति के लिए रिजर्वेशन बढ़ाकर 3% से 7% हो गया है। वहीं सुप्रीम कोर्ट ने राज्य में रिजर्वेशन प्रतिशत 50 तय किया था। लेकिन इन अब आरक्षण की सीमा 56% हो गई है।
वोक्कालिगा समुदाय की राज्य की आबादी में 15% हिस्सेदारी है। ये आबादी मांड्या, कोलार, हासन, मैसूर, तुमकुर और चिक्काबल्लापुर जिलों में असर रखती है। मांड्या में 50% से ज्यादा वोक्कालिगा है। ओल्ड मैसूर सबसे बड़ा रीजन है। लेकिन यहां पार्टी की हालत बहुत खराब होने के कारण इस बार यहां सबसे ज्यादा ताकत लगाने की तैयारी है।