BJP UP president: उत्तर प्रदेश बीजेपी को जल्द ही अपना नया प्रदेश अध्यक्ष मिलने वाला है, जिसकी औपचारिक घोषणा 14 दिसंबर को केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल द्वारा लखनऊ में की जाएगी। 2027 के महत्वपूर्ण विधानसभा चुनावों को देखते हुए यह नियुक्ति बेहद अहम मानी जा रही है। पार्टी के भीतर यह चर्चा ज़ोरों पर है कि सामाजिक समीकरणों को मजबूत करने और ओबीसी वोटों को साधने के लिए नए अध्यक्ष का संबंध ओबीसी या अति-पिछड़ा वर्ग से हो सकता है।
सूत्रों के मुताबिक, वर्तमान में धर्मपाल और पंकज चौधरी में से एक नाम तय होना है, जिसमें पंकज चौधरी के नाम पर सहमति बनने की खबर है। प्रदेश अध्यक्ष के चयन का उद्देश्य केंद्र और राज्य नेतृत्व के बीच बेहतर तालमेल सुनिश्चित करना और पार्टी के पारंपरिक वोट बैंक को बनाए रखना भी है। नामांकन प्रक्रिया 13 दिसंबर को पूरी होगी।
ओबीसी समीकरण साधने पर जोर
नए BJP UP president के तौर पर पंकज चौधरी के नाम पर मुहर लगने का मुख्य कारण उत्तर प्रदेश में ओबीसी (अन्य पिछड़ा वर्ग) समुदाय को पार्टी के साथ जोड़े रखना माना जा रहा है। पार्टी रणनीतिकारों का मानना है कि 2027 के चुनावी रण में सफलता सुनिश्चित करने के लिए सामाजिक समीकरणों को और अधिक मजबूती देना आवश्यक है। चौधरी अगर अध्यक्ष बनते हैं, तो यह पार्टी के ओबीसी हितैषी रुख को दर्शाता है।
मौजूदा अध्यक्ष और उनकी भूमिका
वर्तमान में BJP UP president के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह हैं, जो स्वयं भी ओबीसी वर्ग से आते हैं। आपके प्रश्न के अनुसार, पार्टी के भीतर और राजनीतिक गलियारों में यह सवाल उठ रहा है कि अगर मौजूदा अध्यक्ष भी ओबीसी थे, तो उन्होंने इस वर्ग को कितना जोड़ा और क्या नया नेतृत्व जमीनी समस्याओं को सुलझाने में अधिक प्रभावी साबित होगा।
संगठनात्मक चुनाव की प्रक्रिया
संगठनात्मक चुनाव अधिकारी डॉ. महेंद्र नाथ पांडेय ने बताया कि प्रदेश अध्यक्ष के लिए नामांकन पत्र 13 दिसंबर (शुक्रवार) को दोपहर 1 बजे से 2 बजे तक लखनऊ पार्टी मुख्यालय में जमा किए जाएंगे। राष्ट्रीय महामंत्री विनोद तावड़े की उपस्थिति में यह प्रक्रिया पूरी होगी। अगले दिन, 14 दिसंबर (शनिवार) को केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल नए प्रदेश अध्यक्ष के औपचारिक निर्वाचन की घोषणा करेंगे। परंपरा के अनुसार, इस पद पर आम सहमति से ही नाम तय होने की संभावना है, जिससे 13 दिसंबर को एक से अधिक नामांकन आने की उम्मीद कम है।
