Sonbhadra : प्रयागराज में आने वाले सोनभद्र के चोपन-चुनार से एक खुशखबरी सामने आई है। वहां पर रेलमार्ग के दोहरीकरण की प्रक्रिया तेज हो गई है। दोहरी रेल लाइन बिछाने के लिए शासन ने प्रोजेक्ट सुपरविजन सेवा के लिए एक कंसल्टेंट फर्म की नियुक्ति तीन वर्षों के लिए की है। सोन नदी में नए रेलवे ब्रिज के निर्माण के लिए टेंडर प्रक्रिया पूरी हो चुकी है, और लगभग 230.30 करोड़ रुपये की लागत से सोन नदी पर 1128 मीटर लंबा ब्रिज बनाया जाएगा। काम इस माह के अंतिम सप्ताह या नवंबर के पहले सप्ताह में शुरू होने की उम्मीद है।
इस रेल लाइन(Sonbhadra) के निर्माण से 2054 गांवों और 25 लाख लोगों को लाभ मिलेगा। चोपन से चुनार के बीच दोहरी रेल लाइन बिछाने के लिए केंद्रीय मंत्रिमंडल ने पिछले साल अगस्त में 1424 करोड़ रुपये की स्वीकृति दी थी, जिसमें सोन नदी पर 1128 मीटर लंबे ब्रिज का निर्माण भी शामिल है।
करीब 230 करोड़ का है टेंडर
पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी के प्रतिनिधि श्रीकृष्ण गौतम ने जानकारी दी है कि चोपन के पास सोन नदी में नए ब्रिज के निर्माण के लिए 230 करोड़ 30 लाख रुपये से अधिक की राशि का टेंडर जारी हो चुका है। निर्माण कार्य जल्द ही शुरू होने की संभावना है। दोहरी रेल लाइन बिछाने के लिए प्रोजेक्ट सुपरविजन सेवा के तहत एक कंसल्टेंट फर्म की नियुक्ति की गई है, जो सभी पुलों का सिविल कार्य, रेल पथ, सुरक्षा, गुणवत्ता नियंत्रण और योजना के कार्यान्वयन का प्रबंधन करेगी।
उम्मीद की जा रही है कि विभिन्न निर्माण कार्यों के लिए उत्तर मध्य रेलवे से अलग-अलग टेंडर जारी किए जा चुके हैं, और इस महीने के अंत तक टेंडर फाइनल करने की प्रक्रिया लगभग पूरी हो जाएगी। नवंबर से चोपन-चुनार के बीच दोहरीकरण का निर्माण कार्य तेजी से शुरू होने की संभावना है।
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चल रहा इंडिकेटर लगने का काम
सोनभद्र रेलवे स्टेशन पर कोच इंडिकेटर या डिस्प्ले बोर्ड लगाने का कार्य भी शुरू हो गया है, जिससे रेल यात्री अपनी कोच की सही स्थिति जान सकेंगे। केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी के प्रतिनिधि श्रीकृष्ण गौतम ने बताया कि राजधानी एक्सप्रेस ट्रेन के ठहराव को आईआरसीटीसी और क्रिस वेबसाइट के माध्यम से जोड़ने के लिए रेल मंडल कार्यालय से चर्चा की जा चुकी है। इससे रेलवे यात्रियों को ऑनलाइन रिजर्वेशन कराने में सुविधा प्राप्त होगी।
इस तरीके से, चोपन-चुनार रेलमार्ग का दोहरीकरण और कोच इंडिकेटर प्रणाली की शुरुआत न केवल यातायात को सुगम बनाएगी, बल्कि क्षेत्र के विकास में भी महत्वपूर्ण योगदान प्रदान करेगी।