UP Cooperative Bank: उत्तर प्रदेश के सहकारी बैंकों में सभी खाली पदों पर भर्ती प्रक्रिया जल्द शुरू होने की संभावना है। सहकारी संवर्ग केंद्रीय सेवा के अपर प्रबंध निदेशक ने आयुक्त एवं निबंधक सहकारिता को 100% रिक्त पदों पर भर्ती की अनुमति के लिए पत्र भेजा है। प्रदेश की 50 जिला सहकारी बैंकों में वर्ग एक, दो और तीन के सभी खाली पदों को भरने की तैयारी की जा रही है। अब तक केवल 50% रिक्तियों पर भर्ती की अनुमति थी, लेकिन पूर्ण भर्ती की स्वीकृति से बैंकों की स्थिति मजबूत होगी। इससे उनकी साख बढ़ने के साथ-साथ कारोबार में भी सुधार होगा। भर्ती प्रक्रिया शुरू होने से ग्रामीण क्षेत्रों में बेहतर बैंकिंग सुविधाएं देने की संभावना प्रबल हो गई है।
100% भर्ती का प्रस्ताव क्यों जरूरी?
Cooperative विभाग ने स्पष्ट किया है कि कार्मिकों की कमी के कारण जिला सहकारी बैंकों का संचालन और निरीक्षण प्रभावी नहीं हो पा रहा है। इससे बैंकों को न केवल आरबीआई और नाबार्ड के मानकों का पालन करने में दिक्कत हो रही है, बल्कि अनियमितताओं की आशंका भी बनी रहती है। मौजूदा समय में इन बैंकों का एनपीए 950 करोड़ रुपये तक पहुंच गया है, जबकि 3000 करोड़ रुपये का बकाया कर्ज समय पर वसूला नहीं जा रहा।
भर्ती से सुधार की उम्मीद
अगर सभी स्वीकृत पद भरे जाते हैं तो सहकारी बैंकों की वित्तीय स्थिति मजबूत होगी। इन Cooperative बैंकों के माध्यम से पैक्स द्वारा दिए गए कर्ज की वसूली और क्रेडिट साइकिल बहाल हो सकेगी। भारत सरकार की योजना के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में डोर-स्टेप बैंकिंग सेवाओं को भी मजबूती मिलेगी। इसके अलावा, डेयरी किसानों को जिला सहकारी बैंकों से जोड़ने की योजना को भी बल मिलेगा।
विभागीय प्रयास और संकेत
चार मार्च 2024 को जारी आदेश में केवल 50% पदों पर भर्ती की अनुमति थी। अपर प्रबंध निदेशक ने बताया कि विभागीय कर्मचारियों की कमी के कारण सहकारी बैंकों की प्रगति बाधित हो रही है। 100% रिक्तियों पर भर्ती प्रक्रिया को लेकर विभागीय सूत्रों का कहना है कि अनुमति जल्द मिलने की संभावना है। इससे बैंकों का प्रबंधन सुचारु होगा और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी।
यह प्रक्रिया Cooperative बैंकों के लिए गेम चेंजर साबित हो सकती है, जिससे न केवल उनकी कार्यक्षमता में सुधार होगा, बल्कि कृषि और ग्रामीण विकास में भी नई संभावनाएं खुलेंगी।