कनाडा, अमेरीका, अरब समेत इन देशों से हासील को गैरकानूनी धनराशि
गृह मंत्रालय को भेजी गई रिपोर्ट के अनुसार, प्रवर्तन निदेशालय ने कहा कि आप ने अमेरिका, कनाडा, ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड, सउदी अरब, यूएई, कुवैत और ओमान से धन प्राप्त किया है। ED ने कहा कि पार्टी ने दानदाताओं की पहचान छिपाई, पहचान से छेड़छाड़ की गई और दान की कीमत को गलत बताया गया।
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ED ने गृह मंत्रालय को महत्वपूर्ण जानकारी दी
ईडी ने अपनी जांच के बारे में केंद्रीय गृह मंत्रालय को जानकारी दी है। इसमें दानकर्ताओं का नाम और विवरण, उनका देश, पासपोर्ट नंबर, दान की कुल राशि, दान देने की प्रक्रिया और प्राप्तकर्ता का बैंक खाता शामिल है। इसमें बिलिंग नाम, बिल का पता, टेलिफोन नंबर, बिलिंग ईमेल, पैसे भेजने का समय, धन देने की तारीख और भुगतान का तरीका शामिल हैं। ईडी ने मंत्रालय को बताया कि मनी लॉन्ड्रिंग मामले की जांच के दौरान उसे यह सभी सूचना मिली है।
ED ने बताया कि विदेश में रहने वाले 155 लोगों ने 404 अवसरों पर 55 पासपोर्ट नंबरों का उपयोग करके कुल 1.02 करोड़ रुपये डोनेट किए। साथ ही, 71 दानदाताओं ने आम आदमी पार्टी को 99.90 लाख रुपये देने के लिए 256 अवसरों पर 21 मोबाइल नंबरों का उपयोग किया। इसी तरह, विदेश में रहने वाले 75 डोनरों ने 148 बार 19.92 लाख डोनेट किए, 15 क्रेडिट कार्ड का उपयोग करके। ED ने कहा कि AAP को 51.15 लाख रुपये कनाडा में रहने वाले 19 लोगों के ईमेल आईडी और मोबाइल नंबरों से डोनेट किए गए हैं।
कुमार विश्वास का नाम भी
मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, जांच एजेंसी ने कहा कि AAP वॉलेन्टियर्स और कार्यकर्ताओं के बीच हुए ईमेल संदेशों से यह जानकारी मिली है। इसमें अनिकेत सक्सेना (आप ओवरसीज इंडिया के कोऑर्डिनेटर), कुमार विश्वास (आप ओवरसीज इंडिया के पूर्व संयोजक), कपिल भारद्वाज (आप के पूर्व सदस्य) और दुर्गेश पाठक के ईमेल भी शामिल हैं।

FCRA क्या है?
Foreign Country Regulation Act (FCRA) का पूरा नाम है। हिंदी में इसे विदेशी अंशदान (विनियमन) अधिनियम कहते हैं। 1976 में इसे बनाया गया था, लेकिन 2010 में इसे संशोधित किया गया था। एफसीआरए विदेशी चंदा लेने की अनुमति देने के अलावा विदेश से मिलने वाली सहायता पर भी नजर रखती है, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि सहायता का उद्देश्य क्या है और क्या यह आतंकी सहायता नहीं है। एफसीआरए भी सुरक्षा संबंधी सूचना रखने का जिम्मेदार है।