श्रीप्रकाश शुक्ला के बाद अब पप्पू यादव ने लॉरेंस बिश्नोई से लिया पंगा, कलुआ ने कहा ‘सांसद जी’ बचकर रहना अब इंटरनेशनल डॉन का जरायम की दुनिया में है ‘दबदबा’
लखनऊ ऑनलाइन डेस्क। 90 का वो दशक, जब यूपी से लेकर बिहार तक बाहुबलियों की तूती बोला करती थी। सरकारी ठेकों पर कब्जों को लेकर गैंगों के बीच अक्सर खून बहा करता था। तब पूर्णियां के एक जमीदार परिवार से निकले पप्पू यादव का जरायम की दुनिया में दबदबा था। पूर्वांचल के माफिया डॉन श्रीप्रकाश शुक्ला की एके-47 रायफल भी कहर बरपाए हुए थी। तभी पप्पू यादव और श्रीप्रकाश शुक्ला का आपना सामना हुआ। बात इतनी बिगड़ी की डॉन आगबबूला हो गया और खौफ से पप्पू यादव थर-थर कांपे थे। एक नेता के जरिए पप्पू यादव ने श्रीप्रकाश शुक्ला से सिटेलमेंट करवाया। अब पूर्णियां से निर्दलीय सांसद पप्पू यादव का इंटरनेशनल डॉन लॉरेंस बिश्नोई से पंगा हो गया है। जिस पर सोशल मीडिया पर लोग पप्पू यादव को डॉन से बचकर रहने की सलाह दे रहे हैं।
क्या है पूरा मामला
दरअसल, मुम्बई के कारोबारी व राजेनता बाबा सिद्दकी की शूटर्स ने गोली मारकर हत्या कर दी थी। हत्याकांड की जिम्मेदारी लॉरेंस बिश्नोई के गैंग ने ली थी। पुलिस ने मुकदमा दर्ज करते हुए दो शूटर्स को मौके से अरेस्ट कर लिया था। तभी बाबा सिद्दकी के मर्डर के बाद पप्पू यादव ने लॉरेंस बिश्नोई को लेकर सोशल मीडिया में बड़ा बयान दिया। इसके साथ ही पूर्णियां से निर्दलीय सांसद पप्पू यादव लाव-लश्कर के साथ मुम्बई पहुंचे और बाबा सिद्दकी के बेटे से मुलाकात की। फोन के जरिए एक्टर सलमान खान से भी बात की। जिस पर लॉरेंस गैंग की तरफ से पप्पू यादव को जान से मारने की धमकी मिली। जिसके ऑडियो उन्होंने मीडिया को सौंपे थे। पप्पू यादव ने सीएम नीतीश कुमार से लेकर गृहमंत्रालय को पत्र लेकर जेड सुरक्षा मुहैया कराए जाने की मांग की है।
पहले जानें कौन हैं पप्पू यादव
पप्पू यादव का जन्म मधेपुरा जिले में 1967 में हुआ था। वो एक जमींदार परिवार से आते हैं। गांव से स्कूली शिक्षा लेने के बाद पप्पू यादव ने कॉलेज में दाखिला दिया और कुछ दिन के बाद उन्होंने अपनी छवि एक दबंग नेता के तौर पर बनाई। पप्पू यादव का भय सीमांचल में इस कदर था कि लोग उनका नाम लेने से भी डरते थे। 17 साल जेल में बिताने वाले पप्पू यादव की पहचान बाहुबली नेता के रूप में हुई। उन पर हत्या, किडनैपिंग, मारपीट, बूथ कैपचरिंग, आर्म्स एक्ट जैसे कई मामले अलग-अलग थानों में दर्ज हुए। पप्पू यादव को मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के नेता अजीत सरकार की हत्या के मामले में 17 साल जेल में रहना पड़ा था। जेल से लौटने के बाद पप्पू यादव अपनी छवि बनाने में लग गए। आज लोगों के मसीहा बन गए हैं।
जानें पप्पू यादव का सियासी कॅरियर
1980 में पप्पू यादव ने लालू यादव से हाथ मिलाया और राजनीति में कदम बढ़ा लिए। 1990 में पप्पू यादव विधायक चुने गए। 1991 में पूर्णिया से निर्दलीय चुनाव लड़े और जीत हासिल की। 1996 और 1999 में भी वह पूर्णिया से ही निर्दलीय सांसद बने। 2004 में लालू प्रसाद यादव ने उन्हें मधेपुरा से आरजेडी का टिकट दिया और वह चौथी बार जीते। 2008 में उन पर हत्या का आरोप साबित हो गया तो उनकी सदस्यता रद्द हो गई। 2013 में पटना हाई कोर्ट से राहत मिलने के बाद पप्पू यादव फिर पांचवी बार 2014 में आरजेडी के टिकट से मधेपुरा से चुनाव लड़े और पांचवीं बार जीते। 2015 में पप्पू यादव आजेडी से अलग हो गए। 2019 में उन्होंने अपनी पार्टी से चुनाव लड़ा लेकिन हार गए। 2024 में पूर्णियां से निर्दलीय चुनाव के मैदान में उतरे और सांसद चुने गए।
खौफ का दूसरा नाम था श्रीप्रकाश शुक्ला
उत्तर प्रदेश के गोरखपुर से अपराध जगत में अपनी जमीन तैयार करने वाला गैंगस्टर श्रीप्रकाश शुक्ला एक वक्त में खौफ का दूसरा पर्याय बन गया था। इस गैंगस्टर को मौत के घाट उतारने के लिए उत्तर प्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री ने देश में पहली बार स्पेशल टास्क फोर्स (यूपी एसटीएफ) का गठन किया था। यूपी एसटीएफ के गठन से लेकर श्रीप्रकाश शुक्ला के एनकाउंटर तक में अहम रोल निभाने वाले अफसर राजेश पांडेय की नई किताब ’वर्चस्व’ सामने आई है। इस किताब में श्रीप्रकाश शुक्ला को लेकर कई ऐसे खुलासे किए गए हैं। उन्हीं किस्सों में एक बिहार के बाहुबली पप्पू यादव की डॉक्टर बहन की बांह पकड़ने का भी वाक्या है।
तब पप्पू यादव की बहन का पकड़ा था हाथ
एक यूट्यब चैनल से बातचीत में रिटायर्ड आईपीएस राजेश पांडेय ने बताया कि श्रीप्रकाश शुक्ला ने बिहार में उस वक्त के कद्दावर और मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव के बेहद करीबी मंत्री बृज बिहारी प्रसाद के हत्या की सुपारी ली थी। बृज बिहारी प्रसाद पटना के इंदिरा गांधी इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज में भर्ती थे। उनकी हत्या के लिए श्रीप्रकाश शुक्ला उस अस्पताल में फर्जी एडमिट हुआ। इसी दौरान बाहुबली पप्पू यादव की सगी डॉक्टर बहन वहां इंटर्नशिप कर रही थी। तभी श्रीप्रकाश शुक्ला की नजर जब पप्पू यादव की बहन पर गई तो उसने उसकी बांह पकड़ ली। पप्पू यादव की बहन ने अपने भाई का नाम बताया। जिस पर श्रीप्रकाश शुक्ला ने भी ताव में कहा ’अपने भाई को बता देना और कल उसे अपने साथ लेकर आना, तब मैं बताऊंगा कि मैं कौन हूं।’ इस दौरान श्रीप्रकाश शुक्ला ने पप्पू यादव की बहन से अपना नाम अशोक बताया।
एसटीएफ के अधिकारियों से मिले थे पप्पू यादव
इसी बीच 13 जून 1998 को इंदिरा गांधी इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज के कैंपस में ही श्रीप्रकाश शुक्ला ने एके 47 से मंत्री बृज बिहारी प्रसाद की हत्या कर वहां से फरार होने में सफल हो गया। पप्पू यादव को जब पता चला कि जिसने उनकी बहन का हाथ पकड़ा है, उसी ने मंत्री बृज बिहारी प्रसाद की हत्या की है। उसके बाद पप्पू यादव और भी ज्यादा व्याकुल हो गए। तभी उन्हें बिहार पुलिस के अफसरों से पता चला कि यूपीएसटीएफ की टीम श्रीप्रकाश शुक्ला उर्फ अशोक को तलाशते हुए पटना पहुंची है। तभी पप्पू यादव यूपीएसटीएफ की टीम से मिले और जमीन पर बैठ गए। उस दौर में इतने चर्चित बाहुबली पप्पू यादव यूपीएसटीएफ की टीम के सामने आग्रह अनुरोध की मुद्रा में आ गए। वह कहते दिखे थे कि कैसे भी करके श्रीप्रकाश शुक्ला का काम तमाम किया जाए, उसने उनकी इज्जत पर हाथ डाला है।
लॉरेंस को बताया दो टके का अपराधी
दरअसल, बाबा सिद्दकी की हत्या के बाद पूर्णिया के निर्दलीय सांसद और बिहार के बाहुबली पप्पू यादव के ट्वीट ने तहलका मचा दिया था। लॉरेंस बिश्नोई के बारे में इस तरह की बात तो खुद सलमान खान ने भी नहीं की। खुद बाबा सिद्दीकी ने भी लॉरेंस को लेकर ऐसी बातें नहीं की थीं। पर पप्पू यादव ने सीधे लॉरेंस बिश्नोई के खिलाफ जमकर भड़ास निकाली। 13 अक्तूबर को पप्पू यादव ने ट्वीट किया, ‘यह देश है या हिजड़ों की फौज’। एक अपराधी जेल में बैठ चुनौती दे लोगों को मार रहा है। सब मूकदर्शक बने हैं। कभी मूसेवाला, कभी करणी सेना के मुखिया, अब एक उद्योगपति राजनेता को मरवा डाला। कानून अनुमति दे तो 24घंटे में इस लारेंस बिश्नोई जैसे दो टके के अपराधी के पूरे नेटवर्क को खत्म कर दूंगा।
पप्पू यादव को कलुआ की सलाह
ट्वीट के बाद पप्पू यादप को बिश्नोई गैंग से जान से मारने की धमकी मिली। पप्पू यादव ने तत्काल बिहार और केंद्र सरकार से सुरक्षा की मांग कर डाली। इनसब के बीच सोशल मीडिया पर पप्पू यादव और लॉरेंस गैंग के समर्थक अपनी-अपनी राय व्यक्त कर रहे हैं। कलुआ नाम के यूजर्स ने लिखा कि पप्पू यादव सांसद हैं। ऐसे में उन्हें सावधान रहना चाहिए। सरकार को भी उनकी सुंरक्षा बढ़ानी चाहिए। क्योंकि लॉरेंस बिश्नोई कोई गली का गुंडा नहीं है। वह इंटरनेशनल डॉन है। जैसा की बताया जा रहा है कि बिश्नोई गैंग में करीब 7 सौ से अधिक शूटर्स हैं। लॉरेंस बिश्नोई 21वीं सदी का बाहुबली है। वह श्रीप्रकाश शुक्ला से भी ज्यादा डेंजर है। ऐसे में पप्पू यादव को सोच समझ कर बयान देना चाहिए।