Avimukt Pandey, Maharajganj। जहां भारत-नेपाल सीमा से सटे जनपद महराजगंज के संवेदनशील जिला कारागार में तेजी से हाई सिक्योरिटी बैरक का निर्माण किया जा रहा है। इस बैरक का निर्माण बड़े और खूंखार कैदियों को रखने के उद्देश्य से किया जा रहा है। इस प्रोजेक्ट पर 1.55 करोड़ रुपये की लागत आ रही है। निर्माण की जिम्मेदारी कार्यदायी संस्था यूपीपीसीएल को मिली है। निर्माण पूरा होने के बाद यहां पर भी आतंकी और अन्य खूंखार कैदियों को रखने की पर्याप्त व्यवस्था हो सकेगी।
छह बैरकों में हर बैरक में रखे जाएंगे 2-2 कैदी
जिला कारागार में निर्माणाधीन इस हाई-सिक्योरिटी बैरक में कुल छह बैरक बनाए जा रहे हैं। प्रत्येक बैरक में दो कैदियों को रखने की सुविधा होगी, इस प्रकार से जिला कारागार में कुल 12 खूंखार कैदियों को रखने की व्यवस्था की जा रही है। अभी तक 75 प्रतिशत निर्माण पूरा हो चुका है। यह बैरक अत्याधुनिक सुरक्षा मानकों के अनुसार तैयार किया जा रहा है, ताकि किसी भी अप्रिय घटना को रोका जा सके।
हाईप्रोफाइल कैदियों के लिए खास इंतजाम
जिला कारागार में विदेशी कैदियों की उपस्थिति के कारण यह जगह विशेष रूप से संवेदनशील मानी जाती है। वर्तमान में जेल में 15 विदेशी कैदी और प्रदेश के अन्य जेलों से प्रशासनिक आधार पर स्थानांतरित होकर आए 10 कैदी निरूद्ध हैं। इनमें कानपुर के सीसामऊ क्षेत्र के पूर्व विधायक इरफान सोलंकी भी शामिल हैं।
बैरकों में कैदियों की निगरानी होगी आसान
शासन ने जेल की संवेदनशीलता और सुरक्षा जरूरतों को ध्यान में रखते हुए इस हाई सिक्योरिटी बैरक के निर्माण का निर्णय लिया। निर्माण कार्य पूरा होने के बाद यहां कैदियों की सुरक्षा और निगरानी में और अधिक मजबूती आएगी।
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बैरक निर्माण का 75 फीसदी काम पूरा हुआ
जेल अधीक्षक प्रभात सिंह ने बताया कि जिला कारागार महराजगंज में 1.55 करोड़ की लागत से हाई- सिक्योरिटी बैरक का निर्माण कराया जा रहा है। लगभग 75 प्रतिशत कार्य पूरा हो चुका है। निर्माण पूरा होने के बाद इसका संचालन होगा, जिसमें नियमानुसार शासन के निर्देश पर बंदियों को रखा जाएगा।