China Japan Dispute: ताइवान को लेकर बढ़ते तनाव के बीच चीन ने जापान को खुली धमकी दी है। चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने कहा कि टोक्यो ताइवान को भड़का रहा है और अगर उसने अपनी हरकतें नहीं बदलीं, तो उसे हिरोशिमा और नागासाकी से भी बड़ा दर्द झेलना पड़ सकता है। उन्होंने स्पष्ट कहा कि ताइवान चीन का अभिन्न हिस्सा है और किसी भी विदेशी हस्तक्षेप को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
वहीं, दूसरी ओर, चीन ने गाजा संकट पर भी बड़ा बयान देते हुए कहा कि वह मिस्र और अन्य अरब देशों द्वारा शुरू की गई शांति योजना का समर्थन करता है। वांग यी ने कहा कि गाजा को जबरन हथियाने से शांति नहीं आएगी, बल्कि और अधिक अराजकता फैलेगी। उन्होंने दो-राज्य समाधान को ज़रूरी बताते हुए फिलिस्तीन के लिए स्वतंत्र राज्य का दर्जा मांगा।
ताइवान मुद्दे पर चीन की सख्ती, जापान को कड़ी चेतावनी
China लगातार ताइवान को अपने नियंत्रण में लाने की कोशिश कर रहा है, लेकिन जापान और अमेरिका की दखलअंदाजी से उसकी नाराजगी बढ़ गई है। वांग यी ने सीधे तौर पर जापान को चेतावनी देते हुए कहा कि हिरोशिमा पर हुए हमले को याद रखना चाहिए। उन्होंने कहा, “अगर जापान नहीं सुधरा, तो हम उसे और बड़ा दर्द दे सकते हैं।”
चीन का आरोप है कि जापान ताइवान को चीन के खिलाफ भड़का रहा है। वांग ने कहा कि टोक्यो की शह पर ताइवान उड़ान भर रहा है और इस अस्थिरता को चीन कभी बर्दाश्त नहीं करेगा। बीजिंग का मानना है कि अमेरिका भी ताइवान को हथियार देकर चीन के खिलाफ खड़ा कर रहा है, जो सीधे तौर पर चीन की संप्रभुता के खिलाफ है।
गाजा संकट पर चीन का बड़ा बयान
China के विदेश मंत्री ने गाजा को लेकर भी बड़ी बात कही। उन्होंने कहा कि गाजा फिलिस्तीनी क्षेत्र का अभिन्न हिस्सा है और इसे जबरन हथियाने से कोई समाधान नहीं निकलेगा। चीन ने मिस्र और अन्य अरब देशों द्वारा शांति बहाली की पहल का समर्थन किया और सभी देशों से फिलिस्तीन को स्वतंत्र राष्ट्र के रूप में मान्यता देने की अपील की।
वांग यी ने संयुक्त राष्ट्र और अन्य वैश्विक शक्तियों से अपील की कि वे इस संघर्ष के समाधान के लिए गंभीर कदम उठाएं। उन्होंने कहा कि चीन मध्य पूर्व में शांति और स्थिरता के लिए हमेशा प्रतिबद्ध रहा है और आगे भी बना रहेगा।
जापान को पहले भी दे चुका है चीन धमकी
यह पहली बार नहीं है जब China ने जापान को धमकाया है। बीते कुछ महीनों में चीन ने कई बार जापान की सीमा में अपने लड़ाकू विमान और युद्धपोत भेजे हैं। जापान ने इसे चीन की उकसावे वाली कार्रवाई बताया था। कुछ दिनों पहले ही चीन और ताइवान की जल सेना के बीच झड़प हो चुकी है, जिससे हालात और तनावपूर्ण हो गए हैं।
अब देखना होगा कि जापान इस धमकी पर कैसी प्रतिक्रिया देता है और क्या यह तनाव किसी बड़े संघर्ष में तब्दील होगा या नहीं।