UP By Election : समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव द्वारा उत्तर प्रदेश में उपचुनाव के दौरान मतदान में गड़बड़ी के आरोप लगाए जाने के बाद चुनाव आयोग ने कड़ी कार्रवाई की है। आयोग ने यूपी के कुछ पुलिस अधिकारियों को निलंबित कर दिया है, जिन पर आरोप था कि उन्होंने वोट डालने जा रहे मतदाताओं के वोटर कार्ड चेक किए और उन्हें वोट डालने से रोका।
चुनाव आयोग ने पहले ही निर्देश दिए थे कि पुलिसकर्मी मतदाताओं के पहचान पत्र की जांच नहीं करेंगे, क्योंकि यह अधिकार केवल चुनाव प्रक्रिया में ड्यूटी पर तैनात अधिकारियों और उम्मीदवारों के एजेंटों का होता है, न कि पुलिस का। इसके बावजूद, कानपुर के सीसामऊ क्षेत्र में एक वीडियो सामने आया, जिसमें पुलिसकर्मियों को मतदाताओं का पहचान पत्र चेक करते हुए उन्हें वोट डालने से रोकते हुए देखा गया। इसके बाद चुनाव आयोग ने तत्काल कार्रवाई करते हुए सब इंस्पेक्टर अरुण कुमार सिंह और राकेश कुमार नादर को निलंबित कर दिया और जांच शुरू कर दी है।
आपको बता दें कि चुनाव आयोग का स्पष्ट आदेश है कि पुलिस का काम केवल सुरक्षा और कानून व्यवस्था बनाए रखना है, जबकि मतदान प्रक्रिया और पहचान पत्र की जांच का अधिकार चुनाव टीम और उम्मीदवारों के एजेंटों को है। समाजवादी पार्टी ने अपनी आधिकारिक सोशल मीडिया अकाउंट पर इस मामले को उठाया था, जिसके बाद आयोग ने यह कार्रवाई की।
चुनाव अधिकारियों दिए गए सख्त दिशा-निर्देश
मुख्य निर्वाचन आयुक्त राजीव कुमार ने उत्तर प्रदेश के मुख्य निर्वाचन अधिकारी (CEO) और सभी जिला चुनाव अधिकारियों (DEOs) तथा रिटर्निंग अधिकारियों (ROs) को सख्त दिशा-निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि मतदान प्रक्रिया को पूरी तरह निष्पक्ष और व्यवस्थित बनाए रखा जाए और किसी भी शिकायत को तुरंत संज्ञान में लेकर त्वरित कार्रवाई की जाए। इसके अलावा, आयोग ने यह भी निर्देश दिया है कि कार्रवाई को सोशल मीडिया के माध्यम से शिकायतकर्ता को सूचित किया जाए और उसे टैग किया जाए, ताकि पारदर्शिता बनी रहे।
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आयोग ने स्पष्ट रूप से कहा है कि किसी भी योग्य मतदाता को मतदान से रोका नहीं जाना चाहिए। मतदान के दौरान किसी भी प्रकार का पक्षपाती व्यवहार या गड़बड़ी कतई सहन नहीं की जाएगी। यदि कोई शिकायत प्राप्त होती है, तो उसकी त्वरित जांच की जाएगी, और दोषी पाए जाने पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। इसके साथ ही, उत्तर प्रदेश के 9 जिलों में तैनात पुलिस और सामान्य पर्यवेक्षकों को भी कड़ी हिदायत दी गई है। उन्हें यह सुनिश्चित करने को कहा गया है कि मतदान शांतिपूर्ण, निष्पक्ष और बिना किसी अवरोध के संपन्न हो।