Naxal Attack On Railway Track: झारखंड के गिरिडीह में नक्सलियों ने उत्पात मचाया है. नक्सलियों ने नई दिल्ली-हावड़ा रेल खंड (गया-धनबाद होकर) पर विस्फोट किया है. यह विस्फोट सरिया थाना इलाके के चिचाकी व चौधरीबांध रेलवे स्टेशन के बीच किया गया. अप और डाउन दोनों ट्रैक पर विस्फोट हुआ है. अभी पुलिस मौके पर पहुंच रही है।
आपको बता दें कि प्रतिबंधित नक्सली संगठन भाकपा माओवादी के टॉप लीडर प्रशांत बोस व उनकी पत्नी शीला की रिहाई की मांग को लेकर नक्सली गुस्से में हैं. ऐसे में नक्सलियों ने 21 से 26 जनवरी तक प्रतिरोध दिवस मनाया तो 27 जनवरी को उन्होंने बंद की घोषणा की है।
धमाके के बाद ट्रैक को किया गया सही
इस धामके के बारे में जानकारी देते हुये धनबाद मंडल के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी राजेश कुमार ने बताया है कि नेताजी सुभाष चंद्र बोस गोमो-गया रेलखंड (जीसी) पर धमाके की आवाज के बाद ट्रेनों के परिचालन में बदलाव किया गया था. सुबह 6:35 बजे ट्रैक को फिट घोषित किया गया है जिसके कारण पूर्व में घोषित निम्नलिखित गाड़ियों के परिचालन में बदलाव को निरस्त किया जाता है।
गाड़ी संख्या 12941 भावनगर टर्मिनस- आसनसोल एक्सप्रेस यात्रा प्रारंभ की तिथि 25.01.2022 के मार्ग में परिवर्तन किया गया था ,अब अपने नियत पथ पर चलेंगी. गाड़ी संख्या 12816 आनंद विहार टर्मिनल- पूरी एक्सप्रेस यात्रा प्रारंभ की तिथि 26.01.2022 के मार्ग में परिवर्तन किया गया था, अब अपने नियत पथ पर चलेगी।
नक्सली 15 अगस्त और 26 जनवरी को काला दिवस के रूप में मनाते हैं
दरअसल नक्सली देश की आजादी का पर्व 15 अगस्त और 26 जनवरी गणतंत्र दिवस को काला दिवस के रूप में मनाते हैं. इसके पीछे नक्सल संगठन यह संदेश देने की कोशिश करते हैं कि उनका संगठन देश के संविधान को नहीं मानता है. इसलिए जब 26 जनवरी के दिन जब पूरा देश गणतंत्र दिवस मना रहा होता है तब नक्सल प्रभावित इलाकों में सब कुछ बंद होता है. नक्सली अपने बंद के दौरान अंदरूनी क्षेत्रों में उत्पात मचाने के साथ ही जवानों को निशाना बनाने, पुलिस कैंपों में हमला करने, सड़क मार्ग को अवरुद्ध करने साथ ही रेल मार्ग को नुकसान पहुचाने की फिराक में होते हैं।
राष्ट्रीय पर्व के दौरान फहराते हैं काला झंडा
साथ ही 15 अगस्त और 26 जनवरी के दिन इन क्षेत्रों में नक्सलियों द्वारा विरोध स्वरूप काला झंडा भी फहराया जाता है. वहीं नक्सली इन इलाकों के ग्रामीणों पर भी इन राष्ट्रीय पर्वों का बहिष्कार करने का दबाव बनाते हैं. गौरतलब है कि इन दिनों नक्सलियों पर राज्य और केंद्र सुरक्षाबल कमरतोड़ कार्रवाई करने पर लगे हुए हैं।
देश के 73वें गणतंत्र दिवस के अवसर पर पुलिस ग्राउंड में परेड की सलामी लेने के बाद झारखंड के डीजीपी नीरज सिन्हा ने बताया कि वर्ष 2000 में बहुत सीमित संसाधनों के साथ निर्मित नये राज्य में अपने संकल्प की बदौलत राज्य की पुलिस ने माओवादियों एवं अन्य नक्सली संगठनों के खिलाफ अभियान चलाये हैं. इन अभियानों में अब तक कुल 9631 नक्सली गिरफ्तार किये गये हैं जबकि कई अन्य मुठभेड़ों में मारे गये हैं।