Kisan Mahapanchayat: संयुक्त किसान मोर्चा द्वारा जंतर-मंतर पर बुलाई गई किसान महापंचायत को देखते हुए दिल्ली की सभी सीमाओं पर सुरक्षा कड़ी कर दी गई है. सभी आने-जाने वाली गाड़ियों की चेकिंग की जा रही है. इसके साथ ही दिल्ली के कई इलाकों में ट्रैफिक जाम के हालात बन गए हैं. महापंचायत में शामिल होने के लिए अलग-अलग राज्यों से किसानों का जत्था दिल्ली पहुंच रहा है. हालांकि दिल्ली पुलिस ने इसकी अनुमति नहीं दी है. इस बीच जंतर-मंतर पर किसानों ने पुलिस की बैरिकेडिंग गिरा दी है.
गाजीपुर बॉर्डर पर प्रदर्शन करने पहुंचे किसानों को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में लिया है. उन्हें आगे बढ़ने से भी रोक दिया गया. दिल्ली पुलिस उन्हें बस में ले लेकर जा रही है. बस में सवार एक किसान ने कहा कि किसानों के खिलाफ सरकार तानाशाही बरत रही है. गाजीपुर बॉर्डर पर और भी किसान पहुंच रहे हैं.
हम किसी धरने में शामिल होने नहीं जा रहे: टिकैत
इस बीच भाकियू नेता राकेश टिकैत ने कहा कि उनका धरने का कोई कार्यक्रम नहीं है. हम जब भी धरने पर आएंगे तो बताकर आएंगे. टिकैत के मुताबिक, उन्हें एक किताब के विमोचन में दिल्ली आ रहे थे. राकेश टिकैत ने कहा कि किसी पत्रकार ने मुझसे मिलने के लिए पूछा था तो मैंने कहा कि जंतर-मंतर पर मिलते हैं, पत्रकार ने समझ लिया कि हम धरना देने जा रहे हैं.
जंतर-मंतर में जुटी किसानों की भीड़
इस बीच जंतर मंतर पर किसानों का पहुंचना शुरू हो गया है. वहां अच्छी तादाद में किसान पहुंच गए हैं. जंतर-मंतर पहुंचे किसानों की तस्वीरें सामने आई हैं. किसानों की महापंचायत की वजह से जंतर-मंतर पर भारी पुलिस तैनात किया गया है. इस बीच खबर है कि जंतर मंतर पर पहुंचे किसानों ने दिल्ली पुलिस की बैरिकेडिंग हटा दी है. इसके अलावा दिल्ली की सीमाओं पर चल रही पुलिस की चेकिंग की वजह से अलग-अलग इलाकों में जाम भी लग गया है. दरअसल पुलिस आने-जाने वाले लोगों पर निगरानी कर रही है. इसीलिए ट्रैफिक की गति धीमी हो गई है और जाम के हालात बन गए हैं.
दिल्ली के सभी सीमाओं पर पुलिस गाड़ियों की चेकिंग कर रही है. दिल्ली की सीमाओं में किसान प्रवेश न कर पाएं, इसलिए दिल्ली की सीमाओं पर पुलिस ने कड़ा पहरा लगाया है. दिल्ली के हरियाणा और राजस्थान को जोड़ने वाले नेशनल हाईवे-48 पर पिकेट लगाकर गाड़ियों की चेकिंग की जा रही हैं. बसों को रोककर यात्रियों की जांच की जा रही है, जो लोग हरियाणा और राजस्थान से आ रहे थे. दिल्ली पुलिस के जवान बसों में चढ़कर सवारियों की जांच कर रहे हैं कि कहीं इनमें कोई प्रदर्शनकारी तो नहीं है. नेशनल हाईवे-48 पर पुलिस की पिकेट की वजह से गुरुग्राम-दिल्ली रूट पर ट्रैफिक काफी धीमा हो गया है. वर्किंग डे के पहले दिन ही पुलिस की जांच की वजह से बॉर्डर पर काफी लंबा जाम लग गया है.
शाम 4 बजे तक महापंचायत
जंतर-मंतर पर चलने वाली किसान महापंचायत शाम चार बजे तक चलनी है. इसके बाद संयुक्त किसान मोर्चा के बैनर तले किसान नेताओं की योजना अपनी मांगों को लेकर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को ज्ञापन सौंपने की है. संयुक्त किसान मोर्चा की ओर से कहा गया है कि सरकार किसी भी तरह का व्यवधान डालने का प्रयास करेगी तो इसके लिए वह खुद जिम्मेदार होगी.
ये है किसानों की मांग
संयुक्त किसान मोर्चा की मांग है कि लखीमपुर खीरी कांड के पीड़ित किसान परिवारों को इंसाफ मिले और जेलों में बंद किसानों की रिहाई हो. लखीमपुर खीरी कांड को लेकर केंद्रीय मंत्री अजय मिश्रा टेनी को गिरफ्तार किया जाए. स्वामीनाथन आयोग के C2+50% फॉर्मूले के अनुसार, MSP की गारंटी का कानून बनाया जाए. देश के सभी किसानों को कर्जमुक्त किया जाए.
किसानों की ये भी मांग है कि बिजली बिल को लेकर 2022 के नियम रद्द किए जाएं. गन्ने का समर्थन मूल्य बढ़ाया जाए और गन्ने की बकाया राशि का भुगतान तुरंत किया जाए. भारत WTO से बाहर आए और सभी मुक्त व्यापार समझौते रद्द किए जाएं. किसान आंदोलन के दौरान दर्ज किए गए सभी मुकदमे वापस लिए जाएं. प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के तहत किसानों के बकाया मुआवजे का भुगतान तुरंत किया जाए और सेना में भर्ती की अग्निपथ योजना वापस ली जाए.