Kinnar Akhara News: महाकुंभ 2025 के दौरान किन्नर अखाड़े की महामंडलेश्वर बनीं फिल्म अभिनेत्री ममता कुलकर्णी और आचार्य महामंडलेश्वर लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी को अखाड़े से निष्कासित कर दिया गया है। यह कदम Kinnar Akhara के संस्थापक ऋषि अजय दास ने उठाया। ममता कुलकर्णी को पिछले सात दिन पहले 24 जनवरी को महामंडलेश्वर पद पर बिठाया गया था, लेकिन उनके खिलाफ विरोध के बाद यह निर्णय लिया गया। ममता ने संगम में पिंडदान कर संन्यास लिया था, जबकि लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी को भी पद से हटा दिया गया। इस फैसले के पीछे अखाड़े में ममता को लेकर मची कलह बताई जा रही है।
महाकुंभ 2025 में फिल्म अभिनेत्री ममता कुलकर्णी ने किन्नर अखाड़े से जुड़कर सनातन धर्म के प्रचार-प्रसार का संकल्प लिया था। 24 जनवरी को संगम में पिंडदान कर संन्यास लेने के बाद उन्हें महामंडलेश्वर की पदवी दी गई थी। ममता को “श्री यमाई ममता नंद गिरि” नाम से सम्बोधित किया गया था और वृंदावन स्थित आश्रम की जिम्मेदारी सौंपने की बात कही गई थी। आचार्य महामंडलेश्वर लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी ने ममता को सनातन धर्म के प्रति उनकी श्रद्धा के कारण महामंडलेश्वर का दर्जा दिया था, और उन्होंने यह स्पष्ट किया था कि यदि ममता इस जिम्मेदारी को सही तरीके से निभाएंगी तो ही वह इस पद पर बने रह सकती हैं।
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ममता के संन्यास लेने के बाद कई विवाद सामने आए, और Kinnar Akhara में आंतरिक कलह मच गई। ममता कुलकर्णी की संन्यास यात्रा को लेकर लोगों के बीच मतभेद उभरने लगे, जिससे अखाड़े में तनाव बढ़ गया। इसके बाद ऋषि अजय दास ने ममता और लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी को पद से हटा दिया। ममता ने संन्यास लेने के बाद कहा था कि वह अब अपने जीवन को सनातन धर्म के प्रचार में समर्पित करेंगी, लेकिन अखाड़े में उनकी स्थिति अस्थिर हो गई थी।
ममता कुलकर्णी ने अपनी पुरानी फिल्म इंडस्ट्री में वापसी के सवाल को नकारते हुए धार्मिक फिल्म या सीरियल में काम करने की इच्छा जताई थी, लेकिन अब Kinnar Akhara से निष्कासन के बाद उनका यह निर्णय भी विवादों में आ गया है।