Uber Booking: Uber की प्राइसिंग को लेकर X यूजर ऋषभ सिंह ने एक बड़ा दावा किया है। ऋषभ का कहना है कि Uber कैब का किराया स्मार्टफोन और उसकी बैटरी के लेवल पर निर्भर करता है। इसे साबित करने के लिए उन्होंने iOS और Android पर एक एक्सपेरिमेंट किया। इस टेस्ट में पता चला कि एक ही रूट और समय पर iPhone यूजर्स को Android यूजर्स से ज्यादा किराया दिखाया गया। इतना ही नहीं, उन्होंने देखा कि फोन की बैटरी अगर कम होती है, तो किराया और बढ़ जाता है।
बैटरी कम तो किराया ज्यादा
ऋषभ ने एक्सपेरिमेंट के लिए iPhone और Android से एक ही समय पर एक रूट और पिकअप लोकेशन चुना। उनके मुताबिक, iPhone यूजर्स को हमेशा Android यूजर्स के मुकाबले ज्यादा किराया दिखाया गया। इसके बाद उन्होंने फोन की बैटरी लो होने पर टेस्ट किया। उन्होंने देखा कि बैटरी कम होने पर किराया पहले बताए गए किराए से भी ज्यादा हो गया। इसका मतलब ऐप यूजर की अर्जेंसी का फायदा उठाते हुए किराए को बढ़ा देता है।
डिस्काउंट और डिवाइस डेटा का खेल
ऋषभ ने अपनी X पोस्ट में लिखा कि कई बार 13% या 50% डिस्काउंट ऑफर भी डिवाइस के हिसाब से बदलते दिखे। उन्होंने कहा कि Uber का ऐल्गोरिद्म डिवाइस के स्पेसिफिक डेटा यानी मेटाडेटा पर निर्भर करता है। इसे डाइनैमिक प्राइसिंग कहा जा सकता है। 18 जनवरी को लिखी इस पोस्ट में ऋषभ ने सभी यूजर्स से अपील की कि वे इन कैब सर्विसेज से ट्रांसपेरेंसी और अकाउंटिबिलिटी की मांग करें। साथ ही उन्होंने कंपनियों से इस बारे में जवाब देने की मांग भी की।
Uber ने नहीं दिया जवाब
रिपोर्ट के मुताबिक, इस मामले पर Uber की तरफ से कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है। हालांकि, पहले कंपनी ने कहा था कि उनका प्राइसिंग ऐल्गोरिद्म डिमांड, ट्रैफिक और दूरी पर निर्भर करता है। लेकिन डिवाइस डेटा या बैटरी लेवल के असर को लेकर कोई पुष्टि नहीं की गई है।