अयोध्या में भव्य राम मंदिर
अयोध्या में भव्य राम मंदिर का निर्माण कार्य जारी है। इसमें 1800 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान लगाया गया है। बता दें कि राम जन्मभूमि परिसर में हिंदू धर्म से जुड़ी महान विभूतियों और साधु-संतों की प्रतिमाओं को भी स्थान दिया जाएगा।
ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने निर्माण लागत के बारे में कहा कि “कई संशोधनों के बाद हम 1800 करोड़ रुपये के अनुमान तक पहुंच पाए हैं। हालांकि ये बढ़ भी सकता है।” आपको बता दें कि राम जन्मभूमि परिसर में भव्य मंदिर का निर्माण कार्य बड़ी तेजी से किया जा रहा है। इसके दिसंबर 2023 तक बनकर तैयार हो जाने की उम्मीद है।

वहीं मंदिर में जनवरी 2024 में मकर संक्राति तक भगवान राम लला की प्रतिमा की प्राण प्रतिष्ठा हो जाने की संभावना है। उन्होंने बताया कि ट्रस्ट ने भगवान राम की मूर्ति के निर्माण में सफेद संगमरमर का उपयोग करने का निर्णय लिया है। राम मंदिर में रामायण काल की कई अन्य देवी-देवताओं की मूर्तियां भी लगाई जाएंगी।
पावागढ़ कालिका माता मंदिर
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार 18 जून को गुजरात के पंचमहल जिले में पावागढ़ पहाड़ी के ऊपर पुनर्विकसित कालिका माता मंदिर का उद्घाटन किया। बता दें कि 500 सालों बाद कालिका माता मंदिर के शिखर पर ध्वजा फहराई गई है। वहीं पावागढ़ पहाड़ी के ऊपर स्थित कालिका माता मंदिर का सालों पुराना इतिहास है। “पंद्रहवीं शताब्दी में पावागढ़ की चढ़ाई के बाद से मंदिर का शिखर पिछली पांच शताब्दियों से नष्ट हुआ पड़ा था।
लेकिन अब शिखर को एक नए रूप के साथ फिर से तैयार किया गया है। कहा जाता है कि पावागढ़ मंदिर में मां काली का ऐसा स्वरूप पूरे देश में और कहीं नहीं देखने को मिलता है। इस मंदिर में सिर्फ काली मां की आंखों का ही दर्शन होता है। बताया जाता है इस मंदिर को कई सालों पहले मुस्लिम शासक ने खंडित कर दिया था।

कहा जाता है कि पहले 250 सीढ़ियां चढ़ने के बाद माता के दर्शन होते थे। लेकिन मंदिर का नवीनीकरण के बाद लिफ्ट लगा दी गई है। ”पहले पावागढ़ की यात्रा कठिन थी। लोग का कहना है कि कम से कम जीवन में एक बार तो माता के दर्शन हो जाएं। आज यहां बढ़ रही सुविधाओं ने मुश्किल दर्शन को आसान कर दिया है। अब बच्चे, बुजुर्ग, दिव्यांग, जवान, आसानी से मां के चरणों में आकर भक्ति और प्रसाद का लाभ ले सकते है।
विंध्याचल का देवी कॉरिडोर
मिर्जापुर जिले के देवी धाम विंध्याचल के कॉरिडोर विकास का कार्य जारी है। विंध्य धाम के इस कॉरिडोर के निर्माण से न सिर्फ देवी धाम को भव्य रूप मिलेगा बल्कि रोजगार के अवसर भी बढ़ेंगे। सीएम योगी ने विंध्य धाम कॉरिडोर का दौरा कर इसके निर्माण में तेजी के निर्देश दिए। बाबा श्री काशी विश्वनाथ धाम के बाद माता धाम के विस्तार का कार्य जारी है, कभी संकरी गलियों में रहने वाले मां के दरबार को भव्य रूप दिया जा रहा है जिससे आने वाले दिनों में भक्तों के लिए ये दरबार आकर्षण का केंद्र बनने वाला है।

ऐसी मान्यता है कि विंध्यवासिनी अपने आप में देवी के नौ रूपों को समाहित किये हुए हैं। यहां अष्टकोणीय दर्शन का महात्म्य है। लिहाजा मंदिर धाम का स्वरूप भी अति भव्य दिखाई देता है। मुख्य सड़क से भव्य प्रवेश द्वार है। तो वहीं पुरातन गली वाले स्वरूप की ओर प्रवेश करेंगे तो लगभग 40 फीट का रास्ता मिलेगा। इस रास्ते से आगे मंदिर के प्रवेश द्वार की ओर बढेंगे मुख्य तौर पर मंदिर के कुल चार प्रवेश द्वार बनेंगे।
प्रवेश द्वार के बाद परिक्रमा मार्ग होगा। वहीं परिक्रमा मार्ग के ठीक बाद गर्भगृह का मुख्य मंदिर परिसर होगा। मंदिर परिसर में दुकान और भक्तों के मुंडन संस्कार के साथ पूजन के उचित इंतजाम होंगे। साथ ही दिव्यांग भक्तों के लिए रैम्प की व्यवस्था होगी। भविष्य में धार्मिक पर्यटन की संभावनाओं के संकेत बढ़ रहे हैं। अब विंध्य धाम के निर्माण का कार्य तेजी पकड़ रहा है।
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