2024 में लोकसभा चुनाव होनें वाले हैं। वहीं सभी पार्टिंया अपनी-अपनी तैयारि में जोरों शोरों से लगी हुई हैं। बता दें कि बहुजन समाज पार्टी ने पहली ही ऐलान कर दिया है कि वह 2024 का चुनाव अकेले अपने दम पर लड़ेंगी, लेकिन वो कहते हैं ना बोलना तो आसान हैं लेकिन उसे करना उतना ही मुश्किल ठीक ऐसे ही ये बात पार्टी भी जानती है कि यह काम इतना आसान नहीं, क्योंकि एक तरफ दहां सामना विश्व के सबसे बड़ी राजनीतिक दल बीजेपी से है। जो पहले से मजबूती से सत्ता में है तो साथ ही लड़ाई अन्य विपक्षी दलों से भी है। इसलिए बसपा भी अपने संगठन को मजबूत करने के साथ ही अन्य मोर्चें पर भी तैयारी में जुटी है।
डिजिटली मजबूत करने की रणनीति
वहीं पार्टी को ये बात भी अच्छे से पता है कि अगर युवाओं को साथ जोड़ने के साथ ही सोशल मीडिया और इनफार्मेशन टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया जाए तो इस सियासी जंग में बड़ी राहत मिल सकती है। इसीलिए पार्टी अब डिजिटल का सहारा लेकर इस युग में खुद को डिजिटली मजबूत करने की रणनीति बनाने में लगी हुई हैँ। ऐसे में पार्टी सूत्रों की मानें तो बसपा अपनी भारी-भरकम और मजबूत आईटी टीमें तैयार करने की रणनीति पर मंथन कर रही है
आपको बतातें चलें कि केंद्रीय स्तर की आईटी टीम अलग होगी और राज्य सरकार पर अलग- अलग ऐसी टीमें तैयार की जाएंगी। वैसे तो पार्टी इस तैयारी को 2024 के लोकसभा चुनाव को ध्यान में रखकर कर रही है, लेकिन उसका यह भी मानना है कि अगर यह काम निकाय चुनाव से पहले कर लिया जाए तो इस चुनाव में भी फायदा मिल जाएगा।
मायावती के भतीजे आकाश आनंद के कंधों पर होगी ये जिम्मेंदारी
वहीं खास बात यह है कि केंद्रीय स्तर की आईटी टीम अलग होगी और राज्य स्तर पर अलग-अलग ऐसी टीमों को तैयार किया जाएगा। वैसे तो पार्टी इस तैयारी को 2024 के लोकसभा चुनाव को ध्यान में रखकर करना चाहती है। लेकिन उसका यह भी मानना है की अगर यह काम निकाय चुनाव से पहले कर लिया जाए तो इस चुनाव में भी फायदा मिला जाएगा। सूत्रों की मानें तो इस टाइम की मुख्य जिम्मेदारी बसपा अध्यक्ष मायावती के भतीजे आकाश आनंद के कंधों पर होगी। वहीं 26 मार्च को आकाश आनंद की शादी है, इसके बाद पार्टी की तरफ से आईटी टीमें गठित करने के काम पर तेजी दिखेगी। पार्टी सूत्रों का कहना है कि आज सभी तरह की जानकारियां अगर ऑनलाइन हो तो टीमें गठित करने के काम पर तेजी दिखेगी। पार्टी सूत्रों का कहना है कि आज सभी तरह की जामकारियां अगर ऑनलाइन हो तो काम करना आसान है। आईटी टीम गठित होने के बाद जो भी पार्टी के कार्यक्रम या अभियान होंगे, उनसे जुड़ा डाटा जैसे जो भी बैठक की गई, उनमें जो लोग शामिल हुए, इस तरह की सभी जानकारी ऑनलाइन अपलोड कर दी जाएगी।
वहीं इसे पार्टी का शीर्ष नेतृत्व एक क्लिक पर देख सकेगा। इससे यह भी पता चल जाएगा कि कौन कितनी सक्रियता से काम कर रहा है, कहां पर पार्टी के कार्यक्रम और अभियान तेजी से चलाए गए और कहां पर रफ्तार धीमी रही।