लखनऊ ऑनलाइन डेस्क। संभल में शाही जामा मस्जिद के सर्वे के दौरान रविवार को हिंसा भड़क गई, जिसके बाद शहर धू-धू कर जलने लगा। उपद्रवियों ने पुलिस पर पथराव के साथ ही फायरिंग की, जिससे सीओ, इंस्पेक्टर समेत दो दर्जन से अधिक पुलिसकर्मी घायल हो गए। बवाल के दौरान पांच लोगों की मौत हो गई। हिंसा प्रभावित इलाकों में कर्फ्यू जैसे हालात हैं। प्रशासन ने स्थिति नियंत्रण में लाने के लिए कड़े कदम उठाए हैं। वहीं हिंसा के बाद खूफिया एजेंसियां भी अलर्ट पर हैं और हर गतिविधि पर नजर बनाए हुए हैं। जहां पर हिंसा हुई, वह इलाका आतंकियों का गढ़ रहा है। अलकायदा का इंडिया चीफ मौलाना असीम उमर भी यहीं का निवासी था।
पहले जानें क्या है पूरा मामला
दरअसल, संभल के शाही मस्जिद को लेकर हिन्दू पक्ष ने कोर्ट में याचिका दायर कर उसे मंदिर बताया था। स्थानीय अदालत ने मस्जिद के सर्वे का आदेश दिया। रविवार को सर्वे की टीम मस्जिद परिसर पर पहुंची। वहां पहले से हजारों की संख्या में लोग मौजूद थे और टीम का विरोध करने लगे। पुलिस ने रोका तो भीड़ उग्र हो गई और पथराव शुरू कर दिया। उपद्रवियों ने पहले से पत्थर, पेट्रोल बम और असहले घरों पर रखे हुए थे। चंद मिनक के अंदर उन्होंने इनका इस्तेमाल पुलिस पर किया। वाहनों को आग लगाई और फायरिंग की। पुलिस ने भी जवाबी कार्रवाई की। फिलहाल हिंसा में पांच लोगों की मौत हुई है। सीओ और इंस्पेक्टर समेत दो दर्जन पुलिसकर्मी भी दंगाईयों की गोली से घायल हुए हैं। 25 से अधिक लोगों को पुलिस ने पकड़ा है।
असीम उमर अलकायदा इंडिया का रहा चीफ
हिंसा के बाद खुफिया एजेंसियं भी एक्शन में हैं और संभल के अलावा आसपास के जनपदों पर नजर बनाए हुए हैं। जिस इलाके में हिंसा हुई, वह आतंकवादी संगठन अलकायदा का गढ़ रहा है। दीपा सराय इलाके का रहने वाला सनाउल हक उर्फ मौलाना असीम उमर अलकायदा का इंडिया चीफ रहा है। खुद अल कायदा के चीफ अयमान अल जवाहिरी ने साल 2014 में वीडियो जारी करके मौलाना असीम उमर के बारे में जानकारी दी थी। संभल पुलिस सनाउल हक पर नजर बनाए हुए थीं। वह भारत से भागकर अफगानिस्तान चला गया था।
आसिफ भी अलकायदा का था आतंकी
साल 2019 में अमेरिका की सेना ने सनाउल हक उर्फ मौलाना असीम उमर को अफगानिस्तान में एक ऑपरेशन के दौरान मार गिराया था। असीम के मारे जाने के बाद भी दीपा सराय इलाके से कई युवक आतंकी संगठन में शामिल हुए। जिनमें से कईयों को पुलिस ने पकड़ कर जेल भेजा। कुछ साल पहले दीपा सराय इलाके का रहने वाला आसिफ आतंकी सगठन में शामिल हुए और संभल से सीधे पाकिस्तान चला गया। पाकिस्तान से आतंक की ट्रेनिंग लेकर संभल लौटा। आसिफ संभल में स्लीपर सेल का नेटवर्क तैयार कर रहा था।
शर्जील चल रहा है फरार
भारतीय खूफिया एजेंसियों को आसिफ के बारे में जानकारी मिली तो पुलिस के साथ ज्वाइंट ऑपरेशन के जरिए उसे अरेस्ट कर जेल भेजा। कोर्ट ने साल 2016 में आसिफ को सजा सुनाई थी। आसिफ के अलावा अल कायदा का आतंकी जफर उर्फ गुड्डू भी संभल के दीपा सराय का रहने वाला है। 2016 में कोर्ट ने आतंकी गतिविधियों में शामिल रहने पर उसे सजा सुनाई थी। दीपा सराय का रहने वाला शर्जील फरार चल रहा है। शर्जील अलकायदा का हार्डकोर टेररिस्ट है। दावा किया जाता है कि वह इस वक्त पाकिस्तान में रह रहा है।
संभल हिंसा के पीछे बड़ी साजिश
दीपा सराय इलाके से कई और आतंकी पकड़े गए। जानकार बताते हैं कि ये इलाका अतिसंवेदनशील है। 90 के दशक के दौरान से यहां आतंकी निकले। बाबरी विवाद के दौरान यहां पर दंगा हुआ था। जानकार बताते हैं कि संभल हिंसा के पीछे बड़ी साजिश हो सकती है। जिस तरह से पहले से पत्थर, पेट्रोल बम, अहसले और चाकू की व्यवस्था की गई। उन्हें घरों की छतों पर रखा गया। जब पुलिस कम थी, तब अचानक हमला किया गया। जानकार बताते हैं कि रविवार को उपद्रवियों ने पुलिस पर गुरिल्ला अटैक किया। गलियों से फायरिंग की। जानकार बताते हैं कि उपद्रवी फुल ट्रेंड थे।
सपा सांसद-विधायक पर एफआईआर
हिंसा के बाद उपद्रवियों को पकड़ने के लिए पुलिस ने रविवार को रात भर छापेमारी की। साथ ही पुलिस ने समाजवादी पार्टी के सांसद जियाउर्रहमान बर्क और स्थानीय विधायक के बेटे सोहेल इकबाल के खिलाफ केस दर्ज किया है। सपा सांसद पर आरोप है कि उन्होंने सुनियोजित तरीके से इस हिंसा को भड़काया। इसके लिए उन्होंने मस्जिद के बाहर भीड़ को इकट्ठा किया और फिर उसे उकसाया। जिसके बाद इतने बड़े स्तर पर हिंसा हुई।
एंट्री पर एक दिसंबर तक बैन
हिंसा के बाद संभल में जिला प्रशासन ने बाहरी लोगों की एंट्री पर एक दिसंबर तक बैन लगा दिया है। हालांकि भीम आर्मी चीफ और नगीना से सांसद चंद्रशेखर आजाद ने ऐलान किया है कि वो आज संभल जाएंगे और मृतकों के परिजनों से मिलेंगे। उन्होंने कहा कि हर बार सरकार के इशारे पर पुलिस ने निहत्थे आंदोलनकारियों पर सीधी गोली चलाकर हमारे लोगों की जान ली है। मैं जल्द ही घायल पुलिसकर्मियों से मिलकर। इस हिंसा की सच्चाई देश के सामने लाने का प्रयास करूंगा।