शिक्षकों और कर्मचारियों की लापरवाही का एक मामला उत्तर प्रदेश से सामने आया है। जहां हरदोई में बेंहदर ब्लाक के ग्राम पंचायत रसूलपुर बम्हनान में स्थित इंग्लिश मीडियम विद्यालय पर एक छात्र के कमरे में बन्द होने की खबर मिली। जब छात्र छुट्टी होने पर घर नहीं पहुंचा तो परिजन इधर-उधर तलाश करने लगे। जिसके बाद उन्होंने मामले की शिकायत बीआरसी स्थित कार्यालय पर की है।
तकरीबन 5 बजे विद्यालय से रोने की आवाज आई
उत्तर प्रदेश के हरदोई से एक लापरवाही का मामला सामने आया है। जहां कक्षा एक का छात्र पढ़ने के लिए स्कूल गया था। छुट्टी होने पर विद्यालय के अध्यापकों ने छात्र को कमरे में ही बन्द कर ताला लगा दिया और घर चले गए। जब छुट्टी होने पर छात्र अपने घर नहीं पहुंचा तो परिजन इधर-उधर तलाश करने लगे। जब तकरीबन 5 बजे के करीब विद्यालय के कक्ष से रोने की आवाज आई तो गांव वालों ने जाकर देखा कि छात्र कक्षा में ही बंद है। जिसके बाद परिजनो ने अध्यापक को बुलाकर तत्काल परिसर का ताला खुलवाया और छात्र को बाहर निकाला।
बच्चा कमरे में जोर जोर से रो रहा था
रमेश ने बताया की उनका 6 वर्षीय पोता विनय पढ़ने के लिए गांव के स्थित इंग्लिश मीडियम प्राथमिक विद्यालय बम्हनान में गया था। लेकिन छुट्टी होने पर जब वह घर नहीं आया तो हम इधर-उधर तलाश करने लगे। काफी खोजबीन के बाद जब कुछ नहीं हुआ तो शाम करीब 5 बजे विद्यालय कक्षा से रोने की आवाज आई। ग्रामीणों ने जाकर देखा कि स्कूल से बच्चे की रोने की आवाज आ रही है। जिसके बाद विनय के चाचा योगेश ने बाउंड्री को कूदकर खिड़की से झांक कर देखा तो उनका भतीजा कमरे में जोर जोर से रो रहा था। जिसके बाद मामले की शिकायत बीआरसी स्थित कार्यालय पर की है।
प्रधानाध्यापक ने बतायी यह वजह
प्रधानाध्यापक सुरेशचंद्र ने बताया कि यह बच्चा आंगनबाड़ी केंद्र में पढ़ता था। आंगनबाड़ी केंद्र बंद था। इसलिए वह बच्चा हमारे यहां आकर बैठ गया। मेरे बेटे का एक्सीडेंट हो गया था इसलिए 15 मिनट पहले निकलना पड़ा था। और वहां पर मौजूद शिक्षामित्र ने स्कूल बंद होने से 2 बजकर 45 मिनट पर बच्चों को क्लास रूम से बाहर निकाल कर बाहर ग्राउंड में क्रियाकलाप कराया जा रहा था।