उत्तर प्रदेश: शाहजहांपुर में एक बेसिक शिक्षा अधिकारी को सरकारी स्कूल के शिक्षकों के लिए ड्रेस कोड का आदेश विरोध प्रदर्शन के बाद वापस लेना पड़ा. जिले के बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) ने पुरुषों को शर्ट और पैंट में आने के लिए कहा हैं,
जबकि महिलाओं को साड़ी, सलवार-कुर्ता या लेगिंग पहनकर आने का आदेश दिया गया है. वहीं, उत्तर प्रदेश प्राइमरी टीचर्स एसोसिएशन ने इस तरह के आदेश को पारित करने के बीएसए के अधिकार पर सवाल उठाया था. विवाद के बाद बीएसए ने अब तत्काल प्रभाव से आदेश वापस ले लिया है.
इस संबंध में एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि बीएसए सुरेंद्र सिंह ने प्राथमिक और उच्च प्राथमिक विद्यालय के शिक्षकों, प्रशिक्षकों और शिक्षा मित्रों के लिए ड्रेस कोड निर्धारित किया था. क्योंकि निरीक्षण के दौरान पता चला कि कुछ शिक्षक अपनी मर्जी के कपड़े पहनकर स्कूल आ रहे हैं.
जो विद्यालय की गरिमा के विरुद्ध है. उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षक संघ के अध्यक्ष दिनेश चंद्र शर्मा का कहना है कि बीएसए ने अपनी शक्ति से परे एक निर्णय लिया है, क्योंकि नीतिगत निर्णय सरकार द्वारा लिए जाते हैं न कि जिला स्तर के अधिकारी की तरफ से, स्कूल शिक्षा महानिदेशक विजय किरण आनंद ने बताया कि यह आदेश व्यक्तिगत रूप से बीएसए शाहजहांपुर की ओर से जारी किया गया है.