कानपुर ऑनलाइन डेस्क। नवंबर का महिना गर्म रहा। दिसंबर के दूसरे सप्ताह में ठंड ने दस्तक दी। यूपी के अधिकतर जिलों में प्रचंड सर्दी ने कर्फ्यू का अहसास कर दिया। करीब 10 दिनों तक सूर्य के दर्शन नहीं हुए। आसमान में धुंध की चादर थी। मेघ भी मंडराए पर बारिश नहीं हुई। हालांकि कोहरे और बर्फ की बरसात ने इंसान से लेकर बेजुबानों को बीमार कर दिया। शुक्रवार और शनिवार को धुंध छटी। सूर्यदेव ने दर्शन दिए। इंसानों ने धूप से शरीर का सेका तो बेजुबान भी पिंजड़ों और जंगलों से बाहर आए। लेकिन रविवार की सुबह हालात फिर से बदल गए। तेज हवाओं के साथ कानपुर के अलावा दूसरे अन्य जनपदों में बारिश हो रही है। मौसम विभाग के मुताबिक, जम्मू से चला पश्चिमी विक्षोभ का असर आगरा तक आ गया है। इससे कानपुर परिक्षेत्र में कई दिनों तक बारिश के आसार हैं। इसके साथ ही धुंध और कोहरा बढ़ेगा। सूरज सूरज के बादलों की ओट में छिपेगा और ठंड बढ़ेगी।
मैदानी इलाकों में कंपकंपी छुड़ाएगी
दो दिन की राहत के बाद अब कड़ाके की ठंड और घने कोहरे के बीच एक बार फिर उत्तर प्रदेश के अलावा देश के कई राज्य भींगेगे। इसके बाद तापमान और गिरेगा, जिससे यूपी में ठिठुरन बढ़ जाएगी। पश्चिमी विक्षोभ यूपी के अलावा दूसरे अन्य राज्यों के मैदानी इलाकों को प्रभावित करेगा, जिससे कई राज्यों में बारिश के साथ ओले गिरेंगे और आंधी भी चलेगी। पहाड़ी इलाकों में बर्फबारी होगी। सीएसए के मौसम विभाग ने सुबह कोहरा और शाम को धुंध बढ़ने का पूर्वानुमान जारी किया है। इसके साथ ही ओला वृष्टि और बारिश का पूर्वानुमान है। पश्चिमी विक्षोभ निकलने के बाद हिमालयी ठंडक मैदानी इलाकों में कंपकंपी छुड़ाएगी। कानपुर परिक्षेत्र में अगले 24 घंटे में कई इलाकों में हल्की बारिश होने क अनुमान है। कहीं-कहीं ओलावृष्ठि भी हो सकती है। ऐसे में किसानों को सर्तक रहना होगा।
पांच से छह मिमी तक बारिश होने का पूर्वानुमान
कानपुर में शनिवार की सुबह सूर्यदेव ने दर्शन दिए, जिससे ठंड से राहत मिली। इसके साथ ही अधिकतम तापमान सामान्य 20.5 डिग्री से 1.5 डिग्री सेल्सियस अधिक रहा। वहीं न्यूनतम तापमान सामान्य 7.8 डिग्री से 3 डिग्री सेल्सियस कम रहा है। वरिष्ठ मौसम विज्ञानी डॉ. एसएन सुनील पांडेय ने बताया कि पश्चिमी विक्षोभ निचले स्तर पर है और धीमा है। इसका असर शनिवार को आगरा तक पहुंच गया और देर रात कानपुर परिक्षेत्र में आ जाएगा। रविवार तड़के परिक्षेत्र में पांच से छह मिमी तक बारिश होने का पूर्वानुमान है। बारिश के साथ ही ओलावृष्ठि भी हो सकती है। ऐसे में ठंड और ज्यादा पड़ सकती है। मौसम वैज्ञानिक के मुताबिक, कुछ दिनों के बाद पश्चिमी विक्षोभ का असर हिमालय की तरफ निकल जाएगा। जिसके चलते ठंड से राहत मिलने का अनुमान है।
चक्रवाती हवाओं के घेरे बने हुए हैं
मौसम विज्ञानी डॉ. एसएन सुनील पांडेय ने बताया कि अलग-अलग क्षेत्रों में चक्रवाती हवाओं के घेरे बने हैं। राजस्थान, अरब सागर, बांग्लादेश के ऊपर चक्रवाती घेरे बने हुए। इसके अलावा जेट स्ट्रीम और नीचे आ गई हैं। इसके साथ समुद्री नमी ला रही हैं। अगर इस नमी का जुड़ाव पश्चिमी विक्षोभ से होता है तो मौसमी गतिविधियां बदल जाएंगी। मौसम विभाग ने 12 से 15 फरवरी तक बादलों की आवाजाही का अनुमान जारी किया है। नमी बढ़ने पर बादल और घने हो जाएंगे। इससे धूप नहीं आ पाएगी। इससे धुंध, कोहरा बढ़ेगा। पश्चिमी विभोभ के बाद उत्तर-पश्चिमी हवाओं में निरंतरता आने का अनुमान है।
एक साइक्लोनिक सर्कुलेशन बना हुआ है।
इनसब के बीच भारत मौसम विज्ञान विभाग की तरफ से भी जानकारी दी गई है। आईएमडी के अनुमार, एक पश्चिमी विक्षोभ साइक्लोनिक सर्कुलेशन के रूप में दक्षिण-पूर्व ईरान और पड़ोस में स्थित है। दक्षिण-पश्चिम राजस्थान और उसके आसपास के इलाकों में एक साइक्लोनिक सर्कुलेशन बना हुआ है। पश्चिमी विक्षोभ और पूर्वी हवाओं के साथ पश्चिमी हवा के मिलने की संभावना है। इसके प्रभाव से पश्चिमी हिमालयी क्षेत्र में 11 और 12 जनवरी को हल्की से मध्यम बारिश और बर्फबारी हो सकती है। इस दौरान उत्तर-पश्चिम भारत के मैदानी इलाकों और उससे सटे मध्य भारत में भी बादल बरसेंगे। राजस्थान, जम्मू कश्मीर, लद्दाख, हिमाचल प्रदेश, पंजाब, हरियाणा, चंडीगढ़, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, मध्य प्रदेश में 11 जनवरी को गरज के साथ बरसात होने के आसार हैं। पश्चिमी राजस्थान में छिटपुट ओलावृष्टि की भी संभावना है।
दिल्ली-एनसीआर में बारिश का अलर्ट
पिछले 24 घंटे में दिल्ली एनसीआर में न्यूनतम तापमान में 1 डिग्री सेल्सियस तक की वृद्धि हुई है। दिल्ली में अधिकतम तापमान 18 से 22 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम तापमान 6 से 8 डिग्री सेल्सियस के बीच है। 11-12 जनवरी को आसमान में बादल छाए रहेंगे और हल्की बारिश और बूंदाबांदी होगी। सुबह के समय अधिकांश स्थानों पर मध्यम से घना कोहरा छाए रहने की संभावना है। बारिश के बाद ठंड बढ़ जाएगी। हालांकि, 13 जनवरी को आसमान साफ रहेगा। आईएमडी के अनुसार, उत्तर-पश्चिम भारत में अगले 3 दिनों में न्यूनतम तापमान में 2-3 डिग्री सेल्सियस की वृद्धि होने की संभावना है, जबकि मध्य भारत में अगले 2 दिनों में न्यूनतम तापमान 3-4 डिग्री सेल्सियस तक बढ़ेगा।