Uttar Pradesh: उत्तर प्रदेश के ललितपुर में एक बड़ा ट्रेन हादसा होते-होते बच गया, जिससे सैकड़ों यात्रियों की जान बच गई। केरला एक्सप्रेस टूटी हुई पटरी पर चल गई थी, लेकिन लोको पायलट ने इमरजेंसी ब्रेक लगाकर ट्रेन को रोक दिया। जब तक ट्रेन रुकी, उसके तीन डिब्बे पहले ही टूटी पटरी को पार कर चुके थे। घटना के बाद, झांसी (Uttar Pradesh) पहुंचने पर यात्रियों ने नाराजगी जताते हुए हंगामा किया।
रेलवे की चूक पड़ सकती थी भारी
तिरुवनंतपुरम से नई दिल्ली जा रही इस केरला एक्सप्रेस को ललितपुर में रेल प्रशासन की चूक के चलते टूटे हुए ट्रैक पर चढ़ा दिया गया। ट्रैक पर काम कर रहे कर्मचारियों ने ट्रेन को रोकने के लिए लाल झंडी दिखाई, लेकिन तब तक ट्रेन के कुछ कोच आगे निकल चुके थे। लोको पायलट की सूझबूझ से बड़ा हादसा टल गया।
इसके पहले महोबा में हुई थी ऐसी घटना
हाल ही में महोबा जिले के कबरई क्षेत्र में भी एक घटना सामने आई थी, जब रेल ट्रैक पर कंक्रीट का खंभा रखा गया था। उस समय एक पैसेंजर ट्रेन के चालक ने खंभे को समय रहते देख लिया और इमरजेंसी ब्रेक लगाकर ट्रेन को रोक दिया था। इस मामले में एक 16 वर्षीय लड़के को हिरासत में लिया गया था। इसी प्रकार शनिवार को बलिया जिले के बैरिया क्षेत्र में भी एक रेल इंजन पटरी पर रखे पत्थर से टकरा गया था। हालांकि, इसमें कोई नुकसान नहीं हुआ।
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पूर्वोत्तर रेलवे के जनसंपर्क अधिकारी अशोक कुमार ने बताया कि वाराणसी-बलिया-छपरा रेलखंड पर 15054 लखनऊ-छपरा एक्सप्रेस के इंजन का कैटल गार्ड पटरी पर रखे पत्थर से टकरा गया था। लोको पायलट ने समय रहते आपात ब्रेक लगाकर ट्रेन को रोका। उत्तर प्रदेश में हाल के दिनों में रेल पटरियों पर गैस सिलेंडर, खंभे और अन्य बाधाएं मिलने की घटनाएं बढ़ी हैं।