74 किलोमीटर लंबे नए लिंक एक्सप्रेस-वे, जेवर इंटरनेशनल एयरपोर्ट तक डायरेक्ट कनेक्टिविटी और ग्रेटर नोएडा–यमुना सिटी के बीच नए मार्गों की योजना से पूरे यमुना सिटी रीजन की रफ्तार बदलने जा रही है।
74KM लंबा लिंक एक्सप्रेस-वे क्या है?
यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (YEIDA) 74 किलोमीटर लंबा ग्रीनफील्ड लिंक एक्सप्रेस-वे विकसित करने जा रहा है, जो नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट (जेवर) को गंगा व यमुना एक्सप्रेस-वे समेत पश्चिमी यूपी के कई जिलों से जोड़ेगा। इस कॉरिडोर से मेरठ, बुलंदशहर, खुर्जा, स्याना और अन्य क्षेत्रों से सीधे जेवर एयरपोर्ट तक पहुंच आसान होगी, जिससे यात्रियों और माल ढुलाई दोनों को बड़ा लाभ मिलेगा।
जनवरी से जमीन अधिग्रहण और नई सड़कें
YEIDA ने प्रस्तावित लिंक एक्सप्रेस-वे और उससे जुड़ने वाले नए मार्गों के लिए जनवरी से किसानों की आपसी सहमति के आधार पर भूमि अधिग्रहण प्रक्रिया शुरू करने का निर्णय लिया है। ग्रेटर नोएडा से जेवर तक नई सड़कों, एक्सेस रोड, फ्लाईओवर और अंडरपास की योजना तैयार की जा रही है, ताकि एयरपोर्ट चालू होने के बाद बढ़ने वाले ट्रैफिक को संभाला जा सके।
यमुना सिटी और एयरपोर्ट कनेक्टिविटी
दयानतपुर के पास यमुना एक्सप्रेस-वे और दिल्ली–मुंबई एक्सप्रेस-वे को जोड़ने वाला 8-लूप इंटरचेंज और वहां से एयरपोर्ट टर्मिनल तक करीब 100 मीटर लंबी कनेक्टिंग रोड का काम पूरा हो चुका है। यमुना एक्सप्रेस-वे इंटरचेंज से सीधे टर्मिनल बिल्डिंग तक पहुंचने के लिए YEIDA ने मुख्य सड़क तैयार कर दी है, जिससे यमुना सिटी के सेक्टरों से एयरपोर्ट कनेक्टिविटी और तेज होगी।
औद्योगिक और रियल एस्टेट विकास को बढ़ावा
अधिकारियों के अनुसार, इस लिंक एक्सप्रेस-वे और नई सड़कों से यमुना सिटी, जेवर एयरपोर्ट और आसपास के औद्योगिक क्षेत्रों तक पहुंच आसान होगी, लॉजिस्टिक्स लागत घटेगी और निवेश बढ़ेगा। 56 गांवों के आसपास की जमीनों का लैंड यूज बदलकर इंडस्ट्रियल, वेयरहाउसिंग और रेजिडेंशियल प्रोजेक्ट्स की योजना है, जिससे रोजगार और रियल एस्टेट दोनों में बड़ा उछाल संभावित है।
भविष्य की ट्रांसपोर्ट तस्वीर
यह पूरा नेटवर्क यमुना एक्सप्रेस-वे, गंगा एक्सप्रेस-वे, दिल्ली–मेरठ, ईस्टर्न पेरिफेरल और दिल्ली–मुंबई एक्सप्रेस-वे को एक-दूसरे से मजबूत तरीके से जोड़ेगा। इससे दिल्ली‑एनसीआर और पश्चिमी यूपी के बीच मल्टी-लेयर कनेक्टिविटी बनेगी, यमुना सिटी को एक आधुनिक, एयरपोर्ट-सेंट्रिक और हाई-कनेक्टिविटी वॉक्स के रूप में विकसित करने का रास्ता साफ होगा।



