बलिया: उत्तर प्रदेश का जननायक चंद्रशेखर विश्वविद्यालय 28 सहायक प्रोफेसरों की नियुक्ति और अवैध भुगतान करने के प्रयासों के लिए सुर्खियों में आया हुआ है. दरअसल विश्वविद्यालय के (Jannayak Chandrashekhar University Vice Chancellor) कुलपति व नवनियुक्त सहायक प्रोफेसरों पर जिला कोषागार अधिकारी को बंधक बनाने का आरोप है.
अब अधिकारी ने जिलाधिकारी से सुरक्षा की मांग की है.आपको बता दें कि विवि में 28 सहायक प्राध्यापकों (new professors) की नियुक्ति की गई थी. जिसके के बाद एक शिकायतकर्ता द्वारा शिकायत पर शासन द्वारा तीन सदस्यीय जांच समिति गठित कर नियुक्ति प्रक्रिया में गड़बड़ी की जांच की जा रही है.
जांच समिति के अध्यक्ष निदेशक उच्च शिक्षा उत्तर प्रदेश, प्रतिनिधि जिलाधिकारी बलिया एवं कुलसचिव जननायक चन्द्र शेखर विश्वविद्यालय सदस्य सचिव हैं. दरअसल, जननायक चंद्रशेखर यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर ने एक मीटिंग बुलाई थी. इस बैठक में जिला कोषागार की जिला कोषागार अधिकारी ममता सिंह को भी बुलाया गया था.
वाइस चांसलर ने कमरा बंद करवाया
हालांकि इस मामले को लेकर जांच चल रही है. आरोप है कि बैठक खत्म होने के बाद उन्हें कमरे में बंद कर दिया गया और सहायक प्रोफेसरों के पद पर नियुक्त सहायक प्रोफेसरों का वेतन रोकने के लिए उनसे जबरदस्ती कागजात पर हस्ताक्षर कराये गये थे. इस मामले में जिला कोषागार अधिकारी ममता सिंह ने अपना बयान देते हुए बताया कि, उन पर जबरन यह लिखवाने का दबाव डाला जा रहा था कि उनका वेतन रोक लिया गया.
जिला कोषागार अधिकारी को बंधक बनाने का आरोप
जिसके वह इसे कोर्ट में पेश कर सके. उनका कहना है कि जब वेतन जारी नहीं हुआ है तो इसे रोकने का कोई मतलब नहीं है. उन्होंने आगे बताया कि कुलपति (Jannayak Chandrashekhar University Vice Chancellor) ने खुद कमरा बंद करवाया और कुलपति की सलाह पर ही उन्हें बंधक बनाया गया. अब इसकी शिकायत जिलाधिकारी से करने के साथ ही सुरक्षा की भी मांग की है.
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