आगरा में ऐतिहासिक धार्मिक प्राचीन जलविहार मेले का आयोजन किया गया। इस धार्मिक मेले में बिना परमिशन के अश्लील डांस किया गया। इस अवसर पर गायकार अजय हुड्डा महिला सहयोगी डांसर के साथ पहुंचे थे। गायकार अजय हुड्डा के कार्यक्रम को देखने के लिए सैकड़ों की संख्या में लोग पहुंचे थे। लेकिन कार्यक्रम के दौरान अचानक से लोगों की भीड़ बेकाबू हो गई। जिससे मेले में अफरा-तफरी मच गई। मेला के मंच पर जमकर अश्लील डांस किया गया।
बेकाबू भीड़ को काबू करने पहुंची पुलिस
मेले के मंच पर लगे ठुमके अब सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहे है। वहीं इसके बाद बेकाबू भीड़ को रोकने के लिए पुलिस को कड़ी मशक्कत करनी पड़ी। आगरा में धार्मिक मेले के दौरान मेला कमेटी ने कार्यक्रम का आयोजन कराया था। लेकिन धार्मिक मेले में बिना परमिशन के जमकर अश्लील डांस किया गया। बड़ा सवाल ये उठता है कि आखिर ऐतिहासिक मेले में मेला कमेटी द्वारा क्यों डांस स्टेज लगाई गई। यह पूरा मामला ब्लॉक बाह क्षेत्र के अंतर्गत कस्बा जरार में आयोजित जलविहार मेला का है।
मेले का 153 पूराना इतिहास
इस मेले का इतिहास करीब 153 साल पूराना है। बता दें कि मेले के दिन दिन भगवान गूदर बादशाह सरकार की अगुवाई में कई आराध्य देवों के विमान निकाले जाते हैं। जिसका नेतृत्व स्वयं बादशाह (रामराजा) कई सालों से करते आ रहे थें। ब्रिटिश शासनकाल में मऊरानीपुर नगर पालिका का गठन हुआ था। जिसके प्रमाण नगर पालिका के पास हैं। मेला जलविहार के दस्तावेज भी मौजूद हैं। जिसमें सन् 1891 में मेला जलविहार का वर्णन है। उस समय रानीपुर और मऊरानीपुर एक थे। सन 1937 में रानीपुर अलग कर दिया गया था। साल 2014 में इसे प्रांतीय मेले का दर्जा दिया गया था।
छतरपुर में जल विहार मेले में सैलानियों की जमकर भीड़ उमड़ती है । मेले में अधिकांश दुकानें महिलाओं के लिए सजाई जाती हैं। बताया जाता है कि इस मेले को महिलाओं के लिए विशेष पारंपरिक तौर पर सजाया जाता है। इसलिए खरीदारी के लिए भी महिलाएं अधिक संख्या में आती हैं। मेले में बच्चो के मनोरंजन के लिए अनेक प्रकार के झूले एवं मौत का कुंवा जैसे अन्य कई करतब भी दिखाए जाते है । मेले के उपलक्ष्य में नगर पालिका द्वारा प्रतिदिन कई सारी संस्कृत प्रस्तुतियां राखी जाती है |