Bharat Jodo Yatra: कांग्रेस की भारत जोड़ो यात्रा गुरुवार को मध्यप्रदेश के गोरेगांव से शुरू हुई थी. हिंदी पट्टी के इस प्रदेश में कांग्रेस की यात्रा 16 दिन तक चलने वाली है. कांग्रेस की भारत जोड़ो यात्रा के 78वें दिन पहली बार राहुल गांधी को बहन प्रियंका गांधी का साथ मिला. गुरुवार की रात ग्राम खेरडा में रात्रि विश्राम के बाद यह अपने अगले पड़ाव भान भरड़ की तरफ प्रस्थान करने के लिए तैयार है. यह यात्रा 13 दिनों तक मध्यप्रदेश में रहेगी.
कांग्रेस की भारत जोड़ो यात्रा बुरहानपुर, खंडवा, खरगोन, इंदौर, उज्जैन होते हुए करीब 382 किलोमीटर का सफर तय कर राजस्थान पहुंचेंगी. सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए मौके पर भारी संख्या में पुलिस बल तैनात है. यात्रा सुबह सवा छह बजे खेरदा गांव से खरगोन की ओर रवाना हुई, राहुल के साथ प्रियंका गांधी भी मौजूद हैं. काफिला खेरदा से आधा किलोमीटर दूर कार से निकला. इससे पहले भारत जोड़ो यात्रा में सोनिया गांधी ने राहुल के कर्नाटक यात्रा में शामिल हुई थीं.
मध्यप्रदेश में राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा का आज तीसरा दिन है. शुक्रवार सुबह 6:00 बजे गांव खेरदा से निकलकर राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा दोडवा पहुंची. जिसके बाद यात्रा आगे बढ़ कर सुबह करीब 10:00 बजे भान भरड़ पहुंची. बताया जा रहा है हिन्दुस्तान बायोडीजल पेट्रोल पंप के सामने रुकने की व्यवस्था की गई है. यहां लंच के बाद दोपहर करीब साढ़े तीन बजे भान भरड़ से यात्रा सनावद के लिए रवाना होगी.
यात्रा में शामिल हुई प्रियंका गांधी
राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा में आसपास के ग्रामीण इलाकों से भी बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए हैं और ‘भारत जोड़ो-भारत जोड़ो’ के नारे लगाते हुए काफिला बड़ा होता देखा जा रहा है, लोगों में उत्साह देखने को भी मिल रहा है, यात्रा शाम करीब साढ़े छह बजे सनावद बस स्टैंड पहुंचेगी. यहां राहुल गांधी सभा को संबोधित करेंगे. इसके बाद यात्रा मोरटक्का के लिए रवाना होगी. वैष्णव होटल के पास शाम की व्यवस्था की गई है. इसके बाद यहां से यात्रा राजस्थान जाएगी.
उत्तर भारत में राहुल गांधी के लिए खड़ी हैं चुनौती
राहुल गांधी के लिए दक्षिण भारत की तुलना में उत्तर भारत में ज्यादा चुनौती खड़ी है, दरअसल मध्य प्रदेश में 2023 में विधानसभा चुनाव होने हैं और इस लिहाज से यहां के इस दौरे का राजनीतिक महत्व काफी अहम है. मालवा निमाड़ निर्वाचन क्षेत्र राहुल गांधी के लिए महत्वपूर्ण है क्योंकि कांग्रेस ने पिछले चुनाव में यहां की 66 विधानसभा सीटों में से 28 पर जीत हासिल की थी. यही वजह है कि एक बार फिर राहुल गांधी और प्रियंका गांधी निमाड़ मालवा में अपना बेस मजबूत करने की कोशिश करेंगे.
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