नई दिल्ली। 2002 गुजरात दंगों की पीड़िता बिलकिस बानों को लेकर आज सुप्रीम कोर्ट ने बड़ा फैसला लेते हुए दोषियों के समय से पहले रिहाई के गलत ठहराया है. इसी के साथ बिलकिस बानों केस के 11 दोषियों को 2 सप्ताह के अंदर समर्पण करने को कहा है. अब इस फैसले के बाद देश में सियासी हलचल देखने को मिल रही है. अब इस मामले में कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने कहा है कि, चुनावी फायदे के लिए न्याय की हत्या की गई थी.
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अंहकारी बीजेपी सरकार के खिलाफ न्याय की जीत- राहुल गांधी
बता दें कि कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने 2002 के गुजरात दंगों की पीड़िता बिलकिस बानों के 11 दोषियों की रिहाई को लेकर आए फैसले पर अपनी प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने कहा है कि, चुनावी फायदे के लिए न्याय की हत्या हमारे देश के लोकतांत्रित व्यवस्था के लिए बहुत ही खतरनाक है. ऐसे में एक बार फिर सुप्रीम कोर्ट ने बता दिया है कि कौन अपराधियों का संरक्षक है. दरअसल बिलकिस बानों का अथक संघर्ष, देश की अंहकारी भाजपा सरकार के विरुद्ध न्याय की जीत है.
सभी दोषियों को 2 सप्ताह के अंदर होना होगा सरेंडर- सुप्रीम कोर्ट
बता दें कि इससे पहले 8 जनवरी यानी सोमवार को सुप्रीम कोर्ट ने बिलकिस बानो गैंगरेप (Bilkis Bano Case) मामले के 11 दोषियों की समय से पहले रिहाई मामले में गुजरात सरकार के फ़ैसले को रद्द कर दिया है. कोर्ट ने अपने फैसले में कहा, कि गुजरात सरकार को फैसले लेने का कोई हक नहीं है. मामले की सुनवाई जब महाराष्ट्र में हुई है, तो सारे अधिकार महाराष्ट्र सरकार के पास है. क्योंकि ऐसा ही नियम है. कोर्ट ने सुनवाई के दौरान कहा कोई भी सजा अपराध रोकने के लिए दी जाती है. कोर्ट ने कहा बिलकिस बानो के दोषियों को दो हफ्तों में सरेंडर करना होगा.
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