Story of Sugreev in Ramayan:हमारे देश में समय-समय पर पौराणिक कथाओं पर आधारित शो और फिल्में बनती रही हैं। लेकिन 80 के दशक में दूरदर्शन पर प्रसारित रामानंद सागर की रामायण आज भी दर्शकों के दिलों में बसी हुई है। इस शो के हर किरदार ने अपनी खास छाप छोड़ी है। भगवान राम का किरदार निभाने वाले अरुण गोविल, लक्ष्मण बने सुनील लहरी और रावण के रूप में अरविंद त्रिवेदी आज भी याद किए जाते हैं।
कौन थे वानरराज सुग्रीव?
रामायण के अहम किरदारों में से एक था वानरराज सुग्रीव। इस रोल को निभाया था अभिनेता श्याम सुंदर कालानी ने। उन्होंने इस भूमिका में जान डाल दी थी। सुग्रीव का किरदार भले ही कुछ एपिसोड्स में था, लेकिन दर्शकों पर उसका गहरा असर पड़ा। उनके संवाद, हावभाव और अभिनय ने उन्हें अमर बना दिया।
लॉकडाउन के दौरान हुआ निधन
29 मार्च 2020 को लॉकडाउन के समय श्याम सुंदर कालानी का निधन हो गया। इस खबर को राम का किरदार निभाने वाले अरुण गोविल ने सोशल मीडिया पर शेयर किया था। उनकी मृत्यु से रामायण के प्रशंसकों को बड़ा झटका लगा था। श्याम जी हरियाणा के पंचकूला जिले के कालका इलाके की हाउस बोर्डिंग कॉलोनी में रहते थे। उनका एक्टिंग करियर भी अच्छा रहा। रामायण के अलावा उन्होंने कुछ फिल्मों में भी काम किया, लेकिन समय के साथ उन्होंने ग़लैमर की दुनिया से दूरी बना ली।
कैसे मिला उन्हें सुग्रीव का रोल?
एक इंटरव्यू में रामानंद सागर के बेटे प्रेम सागर ने बताया था कि सुग्रीव का किरदार ढूंढना आसान नहीं था। एक बार गुजरात के उमरगांव के जंगल में देर रात शूटिंग चल रही थी। तभी एक लंबा-चौड़ा इंसान आकर रामानंद सागर जी के पैरों में गिर पड़ा और बोला, “मैं ही आपका सुग्रीव हूं, मुझे ये रोल दे दीजिए।” वह इंसान और कोई नहीं बल्कि श्याम सुंदर कालानी थे। उनकी इस भावना और आत्मविश्वास ने उन्हें यह अहम भूमिका दिलाई।
अभिनय में थी गहराई और सादगी
रामायण की पूरी कास्ट ने बिना किसी भव्य सेटअप के भी दर्शकों के दिलों को छू लिया था। श्याम सुंदर कालानी जैसे कलाकारों ने अपने सादगी भरे और सच्चे अभिनय से यह साबित किया कि एक सशक्त किरदार किसी भी कलाकार को अमर बना सकता है।
श्याम सुंदर कालानी का जीवन और उनका अभिनय हम सभी के लिए प्रेरणा है। उन्होंने दिखाया कि दिल से किया गया काम लोगों के दिलों में हमेशा के लिए जगह बना सकता है। रामायण में उनका योगदान कभी भुलाया नहीं जा सकता।