नई दिल्ली। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन यानी इसरो ने चंद्रयान-3 पर बड़ा अपडेट दिया है. इसरो ने बताया है कि चांद की सतह पर सफल लैंडिंग के बाद चंद्रयान-3 के सभी पार्ट सामान्य रूप से काम कर रहे हैं. अब अगले 14 दिनों तक ये चांद के सतह की स्टडी करेगा और इसरो को अपनी रिपोर्ट भेजेगा.
ऐसा रहा चंद्रयान-3 के 40 दिन का नाजुक सफर
इसरो की बहुत ही महत्वकांक्षी मिशन चांद के 14 जुलाई 2023 को चंद्रयान-3 का सफल प्रक्षेपण किया गया था. अपने 40 दिन के नाजुक सफर के बाद चंद्रयान-3 चांद की सतह पर 23 अगस्त 2023 को सफलतापूर्वक लैंडिंग कर लिया. चंद्रयान-3 के समय ये बहुत ही महत्वपूर्ण समय था, ऐसा इसलिए क्योंकि इससे ठीक पहले वाला इसरो का चंद्रयान-2 मिशन यहीं पर फेल हुआ था.
भारत के चंद्रयान-3 ने रचा इतिहास
बता दें कि भारत के चंद्रयान-3 ने इतिहास रचते हुए चांद के साउथ पोल पहुंचने वाला पहला अंतरिक्ष यान बन गया. इससे पहले चांद के साउथ पोल में दुनिया के किसी भी देश को कामयाबी नहीं मिली थी. वहीं चांद पर पहुंचने वाला भारत दुनिया का 4चौथा देश हो गया है. इससे पहले अमेरिका, सोवियत संघ और चीन ने उपलब्धि हासिल की थी.
जरूरी डेटा जुटाएंगे प्रज्ञान रोवर और विक्रम लैंडर
गौरतलब है कि इसरो ने जानकारी दी है कि चंद्रयान-3 का विक्रम लैंडर चांद पर पहुंचने के बाद उसके प्रज्ञान रोवर ने चांद की सतह पर चहलकदमी करनी शुरु कर दी है. अब इसको अपने तय कार्यक्रम के अनुसार अगले 13 दिनो तक चांद के सतह की स्टडी करके अहम डेटा जुटाना है और इसरो को इसकी जानकारी देना है. रोवर और लैंडर अलग-अलग तरीके से चांद के सतह की स्टडी करेंगे.