गोरखपुर: गोरखनाथ मंदिर में तैनात पीएसी जवानों पर हमले के आरोपी अहमद मुर्तुजा अब्बासी की सात दिन की रिमांड कोर्ट ने एटीएस को दी है। कल पूरी रात एटीएस ने किसी अज्ञात स्थान पर मुर्तुजा से पूछताछ की गई। मुर्तुजा से गोरखनाथ मठ में जाने, वहां ‘अल्लाह-हू-अकबर’ के नारे लगाने और फिर धारदार हथियार से हमला कर देने की वजह पूछी गई। इसके साथ ही मुर्तुजा से उसके आतंकी कनेक्शन के बारे में भी कई सवाल किए गए।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार मुर्तजा बार-बार बयान बदलता रहा है। इस बीच एटीएस की एक टीम नेपाल में उसके कनेक्शन का पता लगाने भी गई है। बताया जा रहा है कि एटीएस ने मुर्तुजा के दो मददगारों को उठा लिया है। एटीएस की पूरी कोशिश है कि मुर्तुजा के सभी मददगारों की पहचान कर गोरखनाथ मंदिर में हमले के बारे में उनकी भूमिका सामने लाई जाए।
गोरखनाथ मंदिर की सुरक्षा में तैनात PAC जवानों पर हमला करने वाले मुर्तजा के बैग से अरबी भाषा की मजहबी किताब में गोरखनाथ मंदिर का नक्शा मिला है। साथ ही उसके लैपटॉप से कट्टरपंथी जाकिर नाइक के कई वीडियो मिले हैं। सोमवार को ATS और STF की संयुक्त टीम महाराजगंज और सिद्धार्थनगर जिले में भी गई। बांसी से दो युवकों को हिरासत में लेकर पूछताछ भी कर रही है। हिरासत में लिए गए दोनों युवक ही रविवार की शाम मुर्तजा को बाइक से गोरखनाथ मंदिर पहुंचाया था।
सूत्रों का कहना है कि मुर्तुजा के हमले से कुछ दिन पहले कुछ लोगों ने गोरखनाथ मंदिर की रेकी की थी। एटीएस की पूछताछ में यह पता लगाने की कोशिश की जा रही है कि रेकी करने वाले कौन थे। मुर्तुजा ने जिस हथियार (बांकी) से पीएसी जवानों पर हमला किया, उसे उसने कहां से खरीदा था? वह नेपाल में किस-किस से मिला था? क्या मुर्तुजा केमिकल विस्फोटक बनाना जानता है? उसने केमिकल इंजीनियर की नौकरी क्यों छोड़ दी थी? ऐसे तमाम सवालों के जवाब मुर्तुजा से जानने की कोशिश की जा रही है।
सोमवार की शाम को गोरखपुर पहुंचे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंदिर की सुरक्षा को लेकर वरिष्ठ अधिकारियों के साथ दो बार बैठक की। सीएम ने घटनास्थल का मुआयना भी किया। बैठक के दौरान योगी ने कहा कि गोरखनाथ मंदिर न सिर्फ पूर्वी यूपी बल्कि देश-दुनिया के लाखों-करोड़ों लोगों की आस्था का केंद्र है। यहां किसी भी दशा में सुरक्षा व्यवस्था में कमी नहीं आनी चाहिए। उन्होंने घटना की गहनता से जांच के साथ ही ऐसी कार्ययोजना बनाने को कहा जिससे किसी भी श्रद्धालु की सुरक्षा को खतरा न हो। बैठक में एडीजी एटीएस नवीन अरोरा, एडीजी एसटीएफ अमिताभ यश, एडीजी जोन अखिल कुमार, कमिश्नर रवि कुमार एनजी, डीआईजी जे. रविंद्र गौड, जिलाधिकारी विजय किरन आनंद और एसएसपी डॉ. विपिन ताडा मौजूद रहे।