Nirmala Sitharaman Bhutan Visit: रास्ते में बिगड़ा मौसम, कहां हुई इमरजेंसी लैंडिंग क्यों उतारा गया विमान

भूटान दौरे पर जा रहीं वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के विमान की खराब मौसम के कारण सिलिगुड़ी में इमरजेंसी लैंडिंग कराई गई। वे भूटान में राजा, प्रधानमंत्री और वित्त मंत्री से द्विपक्षीय आर्थिक वार्ता करेंगी।

Nirmala Sitharaman Bhutan visit

Finance Minister Nirmala SitharamanBhutan Visit: भारत की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण शुक्रवार को भूटान के आधिकारिक दौरे पर जा रही थीं। लेकिन रास्ते में मौसम अचानक बहुत खराब हो गया। तेज हवाएं और घने बादलों के कारण विमान को आगे बढ़ाना सुरक्षित नहीं था। ऐसे में सुरक्षा को देखते हुए विमान की इमरजेंसी लैंडिंग सिलिगुड़ी के बागडोगरा एयरपोर्ट पर कराई गई।

जानकारी के मुताबिक, मौसम की स्थिति में सुधार न होने के कारण निर्मला सीतारमण ने रात सिलिगुड़ी में ही रुकने का फैसला किया। एयरपोर्ट और स्थानीय प्रशासन ने उनके ठहरने और सुरक्षा के पुख्ता इंतज़ाम किए।

2 नवंबर तक रहेगा भूटान का आधिकारिक दौरा

वित्त मंत्री का यह दौरा 2 नवंबर 2025 तक चलेगा। इस दौरान वे भारतीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व करेंगी। उनके साथ आर्थिक मामलों के विभाग की टीम भी यात्रा में शामिल है।

भूटान में सीतारमण सबसे पहले सांगेन चोखोर मठ जाएंगी, जो साल 1765 में स्थापित एक ऐतिहासिक बौद्ध मठ है। यह मठ न केवल भूटान की सांस्कृतिक धरोहर है, बल्कि यहां 100 से ज्यादा भिक्षु उच्च स्तरीय बौद्ध शिक्षा हासिल कर रहे हैं।

राजा और प्रधानमंत्री से होगी मुलाकात

दौरे के दौरान निर्मला सीतारमण की मुलाकात भूटान के राजा जिग्मे खेसर नामग्याल वांगचुक से होगी। इसके बाद वे भूटान के प्रधानमंत्री डैशो त्शेरिंग टोबगे से भी मुलाकात करेंगी। दोनों बैठकों में भारत और भूटान के आपसी संबंधों को मजबूत करने पर चर्चा होगी।

इसके अलावा वित्त मंत्री भूटान के वित्त मंत्री लेकी डोरजी से भी मुलाकात करेंगी। इस बैठक में भारत-भूटान की आर्थिक और वित्तीय साझेदारी को और गहराई देने पर बात होगी। दोनों देशों के बीच व्यापार, निवेश और विकास परियोजनाओं को बढ़ाने की संभावनाओं पर भी विचार किया जाएगा।

भारत-भूटान के बीच बढ़ते रिश्ते

भारत और भूटान के बीच दशकों से गहरे दोस्ताना संबंध रहे हैं। भारत, भूटान का सबसे बड़ा व्यापारिक और विकास सहयोगी देश है। इस यात्रा से दोनों देशों के बीच नए आर्थिक अवसरों और सहयोग की संभावनाओं को और बल मिलने की उम्मीद है।

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