Waking Up in Brahma Muhurta हमारी दिनचर्या का सीधा असर हमारी सेहत और मन-मस्तिष्क पर पड़ता है। अगर दिन की सही शुरुआत हो, तो पूरा दिन अच्छा गुजरता है। पुराने ग्रंथों में बताया गया है कि सुबह ब्राह्ममुहूर्त में उठना
सेहत, दिमाग और आत्मा तीनों के लिए फायदेमंद होता है। यह समय सुबह 3:45 से 5:30 बजे के बीच होता है, जिसे रात का चौथा प्रहर भी कहा जाता है। इस वक्त की गई हर क्रिया शरीर को ज्यादा लाभ देती है। आइए जानते हैं ब्राह्ममुहूर्त में उठने के बड़े फायदे।
शुद्ध हवा से शरीर को फायदा
इस समय हवा में ऑक्सीजन की मात्रा सबसे ज्यादा होती है, जो शरीर के लिए फायदेमंद है। गहरी सांस लेने से खून की शुद्धि होती है, हिमोग्लोबिन बढ़ता है और शरीर को ऊर्जा मिलती है। इससे 90% बीमारियों से बचाव हो सकता है।
आंखों की रोशनी बनी रहती है
अगर सुबह उठते ही तेज रोशनी में देख लें, तो आंखों पर जोर पड़ता है और कुछ पल के लिए धुंधला दिखाई दे सकता है। बार बार ऐसा होने से नजर कमजोर हो सकती है। ब्राह्ममुहूर्त में उठने से आंखों को धीरे धीरे हल्की रोशनी मिलती है, जिससे नजर अच्छी बनी रहती है।
पेट और पाचन सही रहता है
इस समय शरीर में अपान वायु सक्रिय होती है, जो मलत्याग को आसान बनाती है। इस समय बिना किसी जोर के पेट साफ हो जाता है। अगर सही समय पर मल त्याग न हो, तो बवासीर जैसी समस्याएं हो सकती हैं। इसलिए ब्राह्ममुहूर्त में उठने से पेट भी सही रहता है।
शरीर से विषैले तत्व बाहर निकलते हैं
हमारे शरीर में नौ द्वार होते हैं दो आंखें, दो कान, दो नथुने, एक मुंह, एक गुदाद्वार और एक मूत्रद्वार। रातभर शरीर में गंदगी जमा होती है, जिसे सही समय पर बाहर निकालना जरूरी होता है। अगर सूरज निकलने के बाद यह गंदगी शरीर में बनी रहे, तो बीमारियां बढ़ सकती हैं।
दिमाग तेज होता है
इस समय दिमाग की याद रखने वाली शक्ति सबसे ज्यादा सक्रिय होती है। अगर इस वक्त पढ़ाई की जाए, तो चीजें जल्दी याद होती हैं। साथ ही, “ॐ” का जाप करने से दिमाग और शक्तिकेंद्र मजबूत होते हैं।
शरीर को प्राकृतिक ऊर्जा मिलती है
सूर्योदय के समय वातावरण में कई फायदेमंद तरंगें होती हैं। अगर त्वचा के रोमछिद्र खुले हों, तो ये तरंगें शरीर में जाकर उसे ऊर्जा देती हैं। इससे शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है।
स्पिरिचुअल पावर बढ़ती है
अगर इस समय ध्यान या मंत्र जाप किया जाए, तो शरीर के सप्तचक्र जाग्रत होते हैं। यह आध्यात्मिक उन्नति में मदद करता है और मन को शांत करता है।