भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण ने बड़ा फरमान जारी किया है। उन्होंने अपने फरमान में कहा है कि अब खराब सड़क या फिर इंजीनियरिंग कार्यों के कारण अगर कोई गंभीर दुर्घटना होती है तो इसके लिए अधिकारी जिम्मेदार होंगे। भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण ने अब इस संबंध में सर्कुलर जारी कर दिया है।
NHAI ने क्यों लिया फैसला
दरअसल NHAI ने ये फैसला पिछले महीने टाटा संस के पूर्व चेयरमैन साइरस मिस्त्री के साथ हुई दुर्घटना को देखते हुए लिया है। जिसमें कार के डिवाइडर में टकरने से उसनी मौत हो गई थी। प्राधिकरण ने सर्टिफिकेट जारी करने की प्रक्रिया में शामिल सभी अधिकारियों की लापरवाही पर गंभीरता से चर्चा की है।
NHAI का मानना है कि अधिकारियों की अनदेखी के कारण ही यात्रियों की सुरक्षा खतरे में पड़ती है। NHAI की ओर से जारी सर्कुलर में इसकी जानकारी देते हुए कहा गया है कि रोड मार्किंग, क्रैश बैरियर के अंतिम उपचार, रोड साइनेज जैसे सुरक्षा कार्यों को पंच सूची में रखकर प्रोविजनल सर्टिफिकेट जारी किए जा रहे हैं। इससे उपयोगकर्ताओं की सुरक्षा से समझौता होता है। दुर्घटना व मौत होने पर NHAI का नाम भी खराब होता है।
सड़क दुर्घटना के लिए ये अधिकारी होंंगे जिम्मेदार
वहीं केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने कुछ सड़क दुर्घटनाओं को दोषपूर्ण परियोजना रिपोर्टों के लिए जिम्मेदार माना है। इसके साथ ही उन्होंने राजमार्गों व अन्य सड़कों के निर्माण के लिए विस्तृत परियोजना रिपोर्ट तैयार करने के लिए कंपनियों को उचित प्रशिक्षण की आवश्यकता पर जोर दिया है।
वहीं भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण का कहना है कि “यह सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि सर्टिफिकेट जारी करने से पहले सड़क सुरक्षा से संबंधित सभी काम पूरे हैं या नहीं। इसलिए अब घटिया सड़क इंजीनियरिंग कार्यों के चलते हुई किसी भी घातक सड़क दुर्घटना के लिए क्षेत्रीय अधिकारी,परियोजना निदेशक,स्वतंत्र इंजीनियर ज़िम्मेदार होंगे”