Bihar Politics: बिहार चुनाव परिणाम से पहले कांग्रेस को लगा बड़ा राजनीतिक झटका,मची भगदड़, शकील अहमद का इस्तीफा

बिहार चुनाव नतीजों से पहले कांग्रेस को बड़ा झटका लगा है। वरिष्ठ नेता डॉ. शकील अहमद ने टिकट बंटवारे और स्थानीय नेताओं से मतभेद के कारण पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया।

Shakeel Ahmed resigns before Bihar results

Shakeel Ahmed Resigns from Congress: बिहार विधानसभा चुनाव के नतीजों से ठीक पहले कांग्रेस पार्टी में हलचल मच गई है। पूर्व केंद्रीय मंत्री और वरिष्ठ कांग्रेस नेता डॉ. शकील अहमद ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया। उनके इस फैसले से कांग्रेस के प्रदेश संगठन में खलबली मच गई है।

शकील अहमद ने इस्तीफा देने के साथ ही राहुल गांधी और पार्टी के टिकट बंटवारे पर नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि बिहार में टिकट बांटने का तरीका बेहद निराशाजनक रहा और कई योग्य कार्यकर्ताओं को नजरअंदाज किया गया। अहमद ने आरोप लगाया कि स्थानीय नेताओं के अहंकार और मनमानी के कारण पार्टी की साख को नुकसान पहुंचा है।

“राहुल गांधी की कांग्रेस में नहीं चलती” शकील अहमद का निशाना

इस्तीफे के बाद मीडिया से बात करते हुए शकील अहमद ने राहुल गांधी पर सीधा हमला बोला। उन्होंने कहा, “आज कांग्रेस में राहुल गांधी की नहीं चलती, बल्कि उनके आस-पास बैठे लोगों के इशारे पर फैसले लिए जाते हैं।” उन्होंने यह भी कहा कि पार्टी के भीतर सच्ची राय रखने वालों को दरकिनार कर दिया जाता है।अहमद ने स्पष्ट किया कि उनका इस्तीफा किसी अन्य पार्टी में शामिल होने के लिए नहीं है। उनका कहना था कि वे अब स्वतंत्र रूप से जनता के मुद्दों पर आवाज उठाएंगे।

खड़गे को भेजा इस्तीफा, कहा- पार्टी को नुकसान नहीं पहुंचाना चाहता

डॉ. अहमद ने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को अपना इस्तीफा पत्र भेजा और लिखा कि वह नहीं चाहते कि उनकी नाराजगी से पार्टी को नुकसान हो। उन्होंने कहा कि वे मतदान खत्म होने का इंतजार कर रहे थे ताकि चुनावी माहौल में कोई गलत संदेश न जाए। शकील अहमद ने यह भी दावा किया कि वे अपने क्षेत्र कदवा से जीत दर्ज करेंगे और महागठबंधन सरकार बनाने में अहम भूमिका निभाएंगे। हालांकि, उनके इस्तीफे से कांग्रेस में असमंजस की स्थिति बन गई है और कई स्थानीय नेता अब खुलकर अपनी नाराजगी जाहिर कर रहे हैं।

नतीजों से पहले कांग्रेस पर संकट के बादल

एग्जिट पोल में एनडीए की बढ़त दिखने के बाद से कांग्रेस के कई नेताओं में निराशा का माहौल है। शकील अहमद का इस्तीफा उसी निराशा का प्रतीक माना जा रहा है। राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि यह कदम पार्टी के अंदर बढ़ती खींचतान और नेतृत्व की कमजोर पकड़ को उजागर करता है।

बिहार कांग्रेस अब दोहरी चुनौती का सामना कर रही है।एक तरफ चुनावी हार का डर, दूसरी तरफ अपने वरिष्ठ नेताओं का लगातार पार्टी से किनारा करना।

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