प्रयागराज ऑनलाइन डेस्क। संगमीनगरी में महाकुंभ 2025 का आगाज 13 जनवरी को गया। सुबह करीब 6 बजकर 15 मिनट पर पहला शाही स्नान का आयोजन किया गया, जो 40 मिनट तक चला। इसके बाद अन्य अखाड़े के संत और भक्त त्रिवेणी में डुबकी लगाकर पुण्ण कमा रहे हैं। बताया जा रहा है कि 45 दिन चलने वाले महाकुंभ में 45 करोड़ लोग पहुंचेंगे। जिसको लेकर प्रदेश की योगी सरकार ने टेंटसिटी पर आधुनिक व्यवस्थाएं करवाई हैं। सुरक्षा को देखते हुए ’महाकुंभ मेला जनपद’ के लिए आईपीएस वैष्णव कृष्ण को डीआईजी तो वहीं आईएएस आईएएस विजय आनंद को मुख्य अधिकारी बनाया गया है।
राज्य का 76वां जिला घोषित
प्रयागराज का महाकुंभ मेला करीब 4000 हेक्टेयर भूमि पर फैला है और इसे 25 सेक्टरों में बांटा गया है। उत्तर प्रदेश शासन ने महाकुंभ मेला परिक्षेत्र को राज्य का 76वां जिला घोषित किया है। इस साल का महाकुंभ बेहद शुभ माना जा रहा है, क्योंकि ज्योतिषियों के मुताबिक 144 साल बाद ग्रहों का दुर्लभ संयोग बन रहा है। इस दिन सूर्य, चंद्रमा, शनि और बृहस्पति ग्रहों की शुभ स्थिति बन रही है। महाकुंभ के लिए प्रशासन ने संगम तट पर कुल 41 घाट तैयार किए हैं। इनमें 10 पक्के घाट हैं, जबकि बाकी 31 घाट अस्थायी हैं। संगम घाट प्रयागराज का सबसे प्रमुख और महत्वपूर्ण घाट है। यहां गंगा, यमुना और सरस्वती (अदृश्य)- तीन पवित्र नदियों का संगम होता है। इसीलिए इसे त्रिवेणी घाट के नाम से भी जानते।
अलग से तैनात किए गए अफसर
प्रयागराज महाकुंभ को लेकर प्रदेश सरकार ने आईएएस, आईपीएस और पीपीएस, पीसीएस अफसरों को तैनात किया है। आईएएस विजय आंनद को महाकुंभ मेला जनपद का मुख्य अधिकारी बनाया गया है। जबकि आईपीएस वैष्णव को डीआईजी बनाकर प्रयागराज भेजा गया है। महाकुंभ में 7 उपनगर बसाए गए हैं। हर उपनगर में अस्पताल, डॉक्टर और दवा की व्यवस्था की गई है। साथ ही आपूर्ति विभाग की तरफ से मेला परिसर पर 138 राशन की दुकानें खोली गई हैं। सुरक्षा की बात करें तो पूरे मेरा क्षेत्र में 35 हजार पुलिसबल के जवानों के साथ ही 15 होमगार्ड, पीआरडी जवान तैनात किए गए हैं। एनएसजी, एटीएस और यूपी एसटीएफ के कमांडोज हर गतिविधि पर नजर बनाए हुए हैं। पेरे मेला जनपद की जिम्मेदारी आईएएस विजय आंनद के कंधों पर है।
कौन हैं आईएएस विजय आंनद
विजय आनंद 2009 बैच के उत्तर प्रदेश कैडर के आईएएस अधिकारी हैं। उनका जन्म बेंगलुरु का है लेकिन उन्होंने यूपी में कई अहम पदों पर काम किया है। उनकी पहली पोस्टिंग बागपत में एसडीएम के रूप में हुई थी, जिसके बाद वह बाराबंकी में सीडीओ और गोरखपुर में डीएम भी रहे। विजय आनंद को पहले भी मेले को संभालने का अनुभव रहा है। उन्होंने 2017 में माघ मेले और 2019 के अर्द्ध कुंभ में भी अधिकारी के रूप में जिम्मेदारी संभाली है। पिछले आयोजनों को कुशलतापूर्वक पूरा करने पर इस बार उन्हें कुंभ मेले का मेलाधिकारी बनाया गया है। आईएएस विजय आंनद को सीएम योगी आदित्यनाथ का करीबी अफसर बताया जाता है। विजय आनंद तेज-तर्राक आईएएस अफसर हैं।
जिल में 4 तहसील 67 गांव
बता दें, महाकुंभ 2025 के लिए प्रयागराज में एक नया जिला बनाया गया है। इस जिले को ’महाकुंभ मेला जनपद’ कहा गया है। इस जिले में चार तहसीलें और 67 गांव हैं। आईएएस विजय आनंद इस जिले के पहले डीएम हैं। आईपीएस राजेश द्विवेदी इस जिले के पहले एसएसपी हैं। प्रदेश सरकार ने महाकुंभ मेला में जनपद की तरह ही अफसरों की तैनाती की है। दरअसल, बताया जा रहा है कि महाकुंभ में 45 करोड़ से अधिक लोग आएंगे। प्रयागराज महाकुंभ जनपद आबादी के मामले में दुनिया की तीसरा देश होगा, जहां सबसे ज्यादा लोग पहुंचेंगे। ऐसे में सरकार ने यहां पर अगल से ब्यूरोकेट्स तैनात किए हैं।
रविंद्र कुमार को बनाया गया प्रयागराज का डीएम
अगर प्रयागराज जनपद की बात करें तो सीएम योगी आदित्यनाथ ने आईएएस अफसर रविंद्र कुमार को यहां का जिलाधिकारी बनाया है। महाकुंभ शुरू होने से पहले योगी ने उन्हें जौनपुर से प्रयागराज का डीएम बनाकर भेजा है। रविंद्र कुमार मांदड़ राजस्थान के जयपुर के रहने वाले हैं। रविंद्र कुमार का जन्म 1988 को हुआ था। वह साल 2013 के आईएएस अफसर हैं।
तरुण गाबा बनाए गए पुलिस कमिश्नर
महाकुंभ 2025 से ठीक पहले प्रयागराज के पुलिस कमिश्नर पद की जिम्मेदारी आईपीएस अफसर तरुण गाबा को सौंपी गई। 2001 बैच के आईपीएस अधिकारी तरुण गाबा मूल रूप से चंडीगढ़ के रहने वाले हैं। तरुण गाबा शुरुआती दौर में केंद्र में तैनात रहे और केंद्रीय प्रतिनियुक्ति से यूपी कैडर में 2020 में लौटे थे। सीबीआई में भी तरुण गाबा तैनात थे। साल 2020 में उत्तर प्रदेश में बढ़ते क्राइम ग्राफ की वजह से योगी सरकार ने एक्शन लेते हुए गृह सचिव एसके भगत को हटाकर तरुण गाबा को गृह सचिव का पद दिया था।
आकांक्षा राणा को बनाया गया विशेष कार्याधिकारी
आईएएस अफसर आकांक्षा राणा को विशेष कार्याधिकारी कुंभ मेला प्राधिकरण बनाया गया है। पीएम मोदी के प्रयागराज दौरे के दौरान आकांक्षा राणा ने प्रधानमंत्री को महाकुंभ की तैयारियों की एक-एक बारीकी बताई थी। साल 2017 बैच के आईएएस अफसर आकांक्षा राणा यूपी के जालौन के उरई की रहने वाली हैं। आकांक्षा राणा ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा उत्तर पूर्वी राज्यों से ग्रहण करने के बाद आईआईटी कानपुर आ गईं। आईआईटी कानपुर से इकोनॉमिक्स में मास्टर डिग्री की हासिल करने के बाद यूपीएससी की तैयारी करने लगीं। इसके बाद साल 2017 में आकांक्षा राणा ने यूपीएससी क्रैक करके आईएएस बन गईं।